गांगुली दादा खफा…. क्या तमाशा है……जिसने फाइनल में पहुंचाया, उसे ही हटा दिया गया….

सौरव गांगुली

नयी दिल्ली/बिच्छू डॉट कॉम। वैसे तो दादा यानी सौरव गांगुली हमेशा कूल ही नजर आते हैं लेकिन आजकल वे गुस्से में हैं….. नाराज दादा कह रहे हैं क्या तमाशा है…. जिसने वैश्विक क्रिकेट के फाइनल में महिला क्रिकेट टीम को पहुंचा दिया आप ने उसी को हटा दिया…. यह ठीक नहीं है। मामला भारतीय महिला क्रिकेट टीम के कोच रमन को उनके पद से हटाने से जुड़ा है। भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड के अध्यक्ष सौरव गांगुली ने डब्ल्यू वी रमन को भारतीय महिला टीम के कोच पद पर बरकरार नहीं रखे जाने को लेकर नाराजगी जताई है । ऐसा समझा जाता है कि टीम के कुछ सीनियर खिलाड़ियों ने रमन की शिकायत की थी लेकिन बीसीसीआई के अध्यक्ष का मानना है कि रमन को पद पर बनाए रखना चाहिए था । रिपोर्ट के अनुसार, गांगुली ने आधिकारिक रूप से इस मामले को लेकर अपनी नाराजगी व्यक्त की है । टीम इंडिया के पूर्व बल्लेबाज रमन को क्रिकेट सलाहकार समिति (सीएसी) ने महिला टीम के कोच पद पर बरकरार नहीं रखा था और उनकी जगह रमेश पवार को टीम का नया कोच बनाया था । गांगुली ने पवार के चयन को लेकर कुछ नहीं कहा, लेकिन उन्होंने इस बात पर हैरानी जताई कि जिस कोच के नेतृत्व में टीम वैश्विक टूर्नामेंट के फाइनल में पहुंची, उन्हें पद पर बरकरार नहीं रखा गया । भारतीय महिला क्रिकेट टीम के पूर्व कोच डब्ल्यू वी रमन ने राष्ट्रीय टीम पर आरोप लगाए थे । उन्होंने इस वजह से बीसीसीआई के अध्यक्ष सौरव गांगुली को ईमेल लिखा था । उन्होंने आरोप लगाए थे कि राष्ट्रीय टीम में ‘आत्मदंभी संस्कृति’ है और इसे बदलने की जरूरत है । बता दें कि पूर्व क्रिकेटर मदन लाल की अगुवाई वाली क्रिकेट सलाहकार समिति ने एक आश्चर्यचकित करने वाला फैसला लेते हुए राष्ट्रीय महिला टीम के कोच के लिए रमन की जगह रमेश पोवार का चयन किया । भारत ने 2020 में हुए टी 20 विश्व कप के फाइनल में जगह बनाई थी, लेकिन उसे ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ खिताबी मुकाबले में हार का सामना करना पड़ा था । भारतीय महिला टीम को इस साल मार्च में दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ हुई घरेलू सीरीज में भी हार का सामना करना पड़ा था । बता दें कि महिला क्रिकेट में जो लोग शामिल हैं, उन्होंने कहा कि गांगुली को सीएसी के फैसला का सम्मान करना चाहिए । गांगुली को पता होना चाहिए कि सीएसी एक स्वतंत्र संस्था है ।

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