- सभी डॉक्टरों को 6 जनवरी तक अपडेट करने होंगे अपने पते
भोपाल/बिच्छू डॉट कॉम। मेडिकल काउंसिल के रिकार्ड में भले ही 55 हजार डाक्टर हैं, लेकिन ऑनलाइन सत्यापन में सिर्फ 22 हजार ही मिले हैं। ऐसे में साफ नहीं हो पाया है कि प्रदेश में कुल कितने डॉक्टर हैं। डॉक्टरों की वास्तविक संख्या का पता लगाने के लिए सभी को 6 जनवरी तक अपने पते को अपडेट करने को कहा गया है। डॉक्टरों के पते का आधार के ई- केवायसी के द्वारा वेरिफिकेशन किया जाएगा। इसके लिए आधार नंबर डालने पर उनके मोबाइल पर ओटीपी आएगा, इसे वेरिफाई करने के बाद ही प्रक्रिया आगे बढ़ेगी। यदि किसी के पास आधार नहीं है तो वे अपने पासपोर्ट नंबर, वोटर आइडी और पैन नंबर से अपना प्रोफाइल बनाकर वेरिफाई कर सकते हैं। उन्हें इसमें अपना वर्तमान का फोटो और हस्ताक्षर भी अपलोड करना होंगे। गौरतलब है कि वर्ष 2021 में शुरू हुई सत्यापन की प्रक्रिया में डाक्टरों को एमपी आनलाइन के माध्यम से अपना पंजीयन नंबर, मोबाइल नंबर और शैक्षणिक योग्यता की जानकारी दर्ज करनी थी। शुरू में तो इसका भी डाक्टरों ने विरोध किया, लेकिन जब काउंसिल की ओर से सख्ती की गई तो लगभग 22 हजार डाक्टरों ने जानकारी डाली।
रिकॉर्ड में 55 हजार डॉक्टर दर्ज
मप्र के सैकड़ों डॉक्टरों की मौत या प्रदेश से बाहर होने के बाद भी वे मप्र मेडिकल काउंसिल की पंजी में हैं। अभी भी काउंसिल के रिकॉर्ड में 55 हजार डॉक्टर दर्ज हैं। यह स्थिति इसलिए बन रही है क्योंकि काउंसिल के पास निश्चित संख्या ही नहीं है कि प्रदेश में कितने डॉक्टर काम कर रहे हैं। काउंसिल की पंजी में 1959 में 65 साल पहले कराए गए पंजीयन भी हैं, जबकि इनकी उम्र अभी 85 वर्ष से ऊपर होगी। डॉक्टरों का री- वेरिफिकेशन शुरू किया गया। इसे करीब 22 हजार डॉक्टरों ने कराया था। हकीकत में यही डॉक्टर माने जा रहे हैं जो प्रदेश में कार्यरत हैं। बाकी 37 हजार डॉक्टर या तो अन्य राज्यों में सेवाएं दे रहे हैं या उनकी मौत हो चुकी है। उधर, काउंसिल के पांच सदस्यों के पहली बार चुनाव कराने के लिए मई-जून में प्रक्रिया शुरू की गई थी। निजी और सरकारी क्षेत्र के 15 लोगों ने नामांकन भी जमा कर दिए थे। इसकी प्रक्रिया के तहत रजिस्ट्रार की तरफ से सभी पंजीकृत डॉक्टरों को डाक मतपत्र उनके दिए गए पते पर भेजे जाने थे। इसे डॉक्टरों को भरकर वापस काउंसिल को भेजना’ था, लेकिन डॉक्टरों की सही जानकारी और सही पते न होने के कारण शुरुआत में ही कई मतपत्र डिलेवरी न होने के कारण वापस आ गए। इससे चुनाव प्रक्रिया को स्थगित कर दिया गया था।
अब सत्यापन से सामने आएगी हकीकत
प्रदेश में पंजीकृत डॉक्टरों में से कितने यहीं पर प्रेक्टिस कर रहे हैं, यह पता लगाने की कवायद शुरू हुई है। मध्यप्रदेश मेडिकल काउंसिल स्टेट मेडिकल रजिस्टर में दर्ज सभी डॉक्टरों के पते का वेरिफिकेशन कर उसे अपडेट करेगी। क्योंकि अभी तक डॉक्टरों की सही संख्या ही पता नहीं होने से काउंसिल के चुनाव भी टाल दिए गए थे। अभी तक काउंसिल स्वास्थ्य आयुक्त की अध्यक्षता में ही काम कर रही है। अभी तक इसके पांच सदस्यों का चुनाव ही नहीं हो पाया है। काउंसिल रजिस्ट्रार डॉ. दीप्ति चौरसिया ने स्टेट मेडिकल रजिस्टर में पंजीकृत सभी डॉक्टरों के पते अपडेट करने के लिए सूचना जारी की है। सभी डॉक्टरों को 6 जनवरी तक अपने पते अपडेट करने के लिए कहा गया है। इसके लिए ऑनलाइन व्यवस्था की गई है। डॉक्टर ऑनलाइन इसके लिए पूरी जानकारी सहित आवेदन जमा कर सकेंगे। अंतिम तिथि के बाद जितने डॉक्टर पते अपडेट करेंगे, उसके आधार पर काउंसिल के चुनाव के लिए वोटर लिस्ट तैयार की जाएगी।