सात दर्जन निरीक्षक बनेंगे अब डीएसपी

निरीक्षक
  • पुलिस मुख्यालय में हुई स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक

भोपाल/बिच्छू डॉट कॉम। प्रदेश के 84 इंस्पेक्टर्स को कार्यवाहक डीएसपी बनाए जाने के लिए गठित स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक पुलिस मुख्यालय में हुई। डीजीपी सुधीर सक्सेना की अध्यक्षता में हुई बैठक में कमेटी के सदस्य स्पेशल डीजी सीआईडी जीपी सिंह, एडीजी प्रशासन विजय कटारिया, आईजी गुप्त वार्ता डॉ. आशीष उपस्थित थे। बैठक में डीएसपी स्तर के रिक्त 111 पदों के लिए लगभग पौने तीन सौ नामों पर विचार किया गया। बताया जाता है कि 84 निरीक्षक को पदोन्नत कर डीएसपी बनाने के लिए 213 निरीक्षक, 13 रक्षित निरीक्षक के नामों पर मंथन किया गया। इसी तरह से तीन कंपनी कमांडर को पदोन्नत कर सहायक सेनानी बनाने के लिए नौ कंपनी कमांडर के नाम पर विचार किया गया। जरूरी प्रक्रिया पूरी करने के बाद पुलिस मुख्यालय की ओर से ये प्रस्ताव मप्र गृह विभाग को भेजा जाएगा। माना जा रहा है कि विभाग आचार संहिता लगने से पहले इन इंस्पेक्टर्स को कार्यवाहक डीएसपी बनाने के आदेश जारी कर देगा।
दिसंबर 2023 में मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने हर स्तर के पुलिसकर्मियों की प्रमोशन प्रक्रिया जल्द पूरी करने के निर्देश दिए थे। इसके बाद पुलिस मुख्यालय ने 15 दिन के भीतर एक हजार से ज्यादा पुलिसकर्मियों की प्रमोशन लिस्ट जारी कर दी। पुलिस मुख्यालय की कार्मिक शाखा के अफसर 250 सीनियर इंस्पेक्टर्स के रिकॉर्ड खंगाल रहे हैं। यानी उनके कार्यकाल में कहीं कोई विभागीय जांच, एफआईआर या सजा तो लंबित नहीं है। पुलिस अफसरों को वन टर्म प्रमोशन देने की प्रक्रिया पिछले कुछ सालों से शुरू हुई है। दरअसल प्रदेश में पदोन्नति पर कोर्ट की रोक होने के कारण कार्यवाहक पद देकर पदोन्नति दी जा रही है। इसी क्रम में उच्च पद का प्रभार देकर प्रमोशन दिए जा रहे हैं।
रिकार्ड की गहराई से जांच पड़ताल
डीजीपी की अध्यक्षता में गठित समिति ने पदोन्नत होने वाले पुलिस अधिकारियों के रिकॉर्ड की गहराई से जांच पड़ताल की और कुछ नामों अधूरा रिकार्ड होने के कारण उसे पूरा करने को कहा गया। इसके बाद डीजीपी की अध्यक्षता में एक बैठक और होगी। यह प्रक्रिया जल्द पूरी कर पदोन्नति पर अंतिम मोहर लगाने के लिए फाइल गृह विभाग को भेजी जाएगी। कार्यवाहक डीएसपी बनाने का अंतिम निर्णय प्रमुख सचिव गृह की अध्यक्षता में मंत्रालय में होने वाली बैठक में लिया जाएगा। पदोन्नति नहीं लेने पुलिस मुख्यालय को भेजा पत्र प्रदेश के मलाईदार पदों पर बैठे लगभग डेढ़ दर्जन निरीक्षकों ने पुलिस मुख्यालय को पत्र भेजकर पदोन्नति लेने से इंकार कर दिया है। नियम यह कहता है कि यदि कोई पुलिस कमीं पदोन्नति से इंकार करता है तो उसके आवेदन को मान लेना चाहिए। बैठक में उपस्थित एक पुलिस अधिकारी ने सुझाव दिया कि जिन निरीक्षकों ने पदोन्नति से इंकार किया है, उन्हें फील्ड से हटा दिया जाए। इससे विभाग में अनुशासन बढ़ेगा और पुलिस कर्मियों मनमानी पर रोक लगेगी। सभी मुद्दों पर अंतिम निर्णय डीजीपी को लेना है।
डेढ़ दर्जन ने प्रमोशन से किया इंकार
जिन निरीक्षकों ने पदोन्नति लेने से इंकार किया है, उनमें भोपाल जिले के रातीबड़ थाना प्रभारी हेमंत श्रीवास्तव, टीआई जीआरपी वीरेन्द्र झा आदि शामिल है। दो रक्षित निरीक्षको ने भी पदोन्नति लेने से मना कर दिया है। सबसे उल्लेखनीय बात यह है कि लोकायुक्त में पद पदस्थ दो निरीक्षको ने भी पदोन्नति लेने से इंकार किया है। बताया जाता है कि उन्हें इस बात का डर है कि पदोन्नति के बाद लोकायुक्त से वापस बुला लिया जाएगा।  
22 डीएसपी एएसपी बनेंगे
 पुलिस मुख्यालय ने 22 डीएसपी को अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (एएसपी) बनाने का प्रस्ताव राज्य सरकार को भेज दिया है। बताया जाता है कि डीएसपी से एएसपी बनाने के लिए डीपीसी अगले सप्ताह हो सकती है। ताकि आदर्श चुनाव आचार संहिता लागू करने से पहले अधिकारियों को पदोन्नति दी जा सके।

Related Articles