संघ ने पूर्व डीजीपी को सौंपी स्वराज्य अभियान की कमान

पूर्व डीजीपी

भोपाल/अपूर्व चतुर्वेदी/बिच्छू डॉट कॉम। पुलिस महकमे के लंबे समय तक मुखिया रहे एसके राउत को आरएसएस ने बेहद अहम काम सौंपा है। श्री राउत को हिंदवी स्वराज्य के 350 वर्ष मनाने के कार्यक्रम की अहम जिम्मेदारी दी गई है। उनकी अगुवाई में संघ के मध्य भारत प्रांत यानी भोपाल से लेकर चंबल के क्षेत्र में शिवाजी के स्वराज्य को जन-जन तक पहुंचाने का अभियान अगले एक साल तक चलेगा। इसमें नर्मदापुरम संभाग का भी इलाका शामिल है। यह जिम्मेदारी मिलने के बाद राउत ने अपने स्तर पर इस अभियान को सफल बनाने के लिए तैयारियां शुरु कर दी हैं। ज्ञात रहे कि इससे पहले मध्य भारत प्रांत के संघ चालक की जिम्मेदारी रिटायर्ड न्यायाधीश डॉ. अशोक पांडेय को दी गई थी। पहले वे प्रांत संघचालक थे। इसी प्रकार रिटायर्ड डीएसपी राजकुमार शर्मा संघ में सामाजिक समरसता का जिम्मा भी उठा रहे हैं। दरअसल गठित की गई इस समिति का का मूल काम रहेगा जन-जन में स्व का भाव जागृत करना। हाल ही में इसकी बैठक वनवासी कल्याण परिषद में हुई थी। यह समिति पूर्व डीजीपी एसके राउत की अध्यक्षता में आगामी 2 जून 2023 से लेकर 20 जून 2024 तक वीर शिवाजी के स्वराज्य की वर्तमान में प्रासंगिकता को अंतिम पंक्ति के नागरिक तक पहुंचाने का अभियान चलाएगी। बैठक में हिंदवी स्वराज्य के 350वें स्थापना दिवस के अवसर पर वर्ष भर प्रांत से लेकर खंड स्तर तक ऐसी समितियां गठित करने की योजना बनाई गई है। 2 जून से 15 जून तक इन समितियों का शुभारंभ होगा।
मध्य भारत में ये जिले शामिल
ये समितियां वर्ष भर प्रांतभर में अंतिम पंक्ति के व्यक्ति तक हिंदवी स्वराज्य की वर्तमान में आवश्यकता को समझाने के लिए विभिन्न कार्यक्रम आयोजित करेंगी। इस दौरान शिवाजी के सुशासन व्यवस्था के बारे में लोगों बताकर जन सामान्य में स्व के भाव का जागरण करने का कार्य किया जाएगा। बता दें कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के मध्यभारत प्रांत में नर्मदा से चंबल तक का क्षेत्र आता है। इसमें बैतूल, हरदा, नर्मदापुरम, रायसेन, सीहोर, भोपाल, विदिशा, राजगढ़, गुना, अशोकनगर, शिवपुरी, श्योपुर, मुरैना, ग्वालियर और भिंड शामिल हैं।
क्या है हिंद स्वराज्य
प्रचारक बृजकिशोर भार्गव बताते हैं कि मुगल शासन के दौरान करीब 350 वर्ष पहले वीर शिवाजी महाराज ने पूरे देश के हिंदू राजाओं को एकत्रित करके पुन: हिन्दू राष्ट्र की स्थापना के लिए अभियान चलाया था। उनके हिंदवी स्वराज्य में महिला सम्मान, विदेश नीतियां, सुदृढ़ न्यायिक नीति, भूमि रिफॉर्म, कृषि के नवीन प्रकार, कर एवं व्यापार इत्यादि के लिए उत्कृष्ट नीतियां थीं। उनके राज्य में ही तोप कारखाना, गोला बारूद, बंदूके आदि निर्माण प्रारम्भ हुआ। हर जन में राज्य स्व का भाव था। नागरिकों में इसी स्व के भाव जागृत करने के लिए यह समितियां कार्य करेंगी।

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