- सरकार द्वारा दलहन फसलों की खरीदी करीब 40 जिलों में शुरू की जा रही है…
भोपाल/गौरव चौहान/बिच्छू डॉट कॉम। मध्य प्रदेश के किसानों के लिए यह हफ्ता दोहरी राहत लेकर आया है। इसकी वजह है किसानों के खाते में जुलाई महीने की सिंचाई सब्सिडी की राशि का अंतरण और सरकार द्वारा आज से की जाने वाली दलहन फसलों की सरकारी मूल्य पर खरीदी । यह खरीदी कल से एक साथ करीब 40 जिलों में शुरू की जा रही है। इसके लिए सभी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। यह वो समय है जब किसानों को खाद-बीज के लिए पैसों की जरूरत होती है।
सरकार ने सोमवार यानी कि आज से ग्रीष्मकालीन मूंग की न्यूनतम समर्थन मूल्य पर खरीदी की प्रक्रिया शुरू होगी। मूंग की न्यूनतम समर्थन मूल्य 7 हजार 275 रुपए प्रति क्विंटल की दर पर खरीदी जाएगी। वर्तमान में मूंग का बाजार मूल्य 6 हजार रुपए प्रति क्विंटल है। शिवराज सरकार 32 जिलों के किसानों से 741 खरीदी केन्द्रों पर 2 लाख 34 हजार 749 पंजीकृत किसानों से 7275 रुपए प्रति क्विंटल समर्थन मूल्य पर ग्रीष्मकालीन मूंग की खरीदी करेगी।
पंजीयन कराने वाले किसानों से जिलेवार प्रति हेक्टेयर निर्धारित मात्रा में मूंग और उड़द की खरीदी की जायेगी। उड़द 6300 रुपए प्रति क्विंटल समर्थन मूल्य पर निर्धारित 10 जिलों में खरीदी जायेगी। खरीदी का कार्य आगामी 30 सितम्बर तक किया जायेगा। गौरतलब है की हाल ही में ग्रीष्मकालीन मूंग एवं उड़द के उपार्जन की समीक्षा करते हुए सीएम शिवराज सिंह चौहान ने कहा था की भारत सरकार की प्राईस सपोर्ट स्कीम में समर्थन मूल्य पर ग्रीष्मकालीन मूंग एवं उड़द का उपार्जन 30 सितम्बर तक किया जाएगा। उपार्जन में भ्रष्टाचार की संभावना नहीं हो, इसके लिए सभी व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जाएं। यदि व्यापारियों द्वारा किसानों के नाम पर मूंग और उड़द का विक्रय किया जाए तो उसकी खरीदी किसी भी कीमत पर नहीं की जाए। किसानों से ही मूंग और उड़द का उपार्जन किया जाए। छोटे किसानों की शत-प्रतिशत मूंग और उड़द के उपार्जन को प्राथमिकता दें। जहां तक संभव हो इलेक्ट्रानिक तोल कांटों से तुलाई की जाए। खरीदी लक्ष्य के अनुसार सुनिश्चित हो।
इन जिलों में होगी खरीदी
ग्रीष्मकालीन मूंग की खरीदी बालाघाट, नर्मदापुरम, नरसिंहपुर, रायसेन, हरदा, सीहोर, जबलपुर, देवास, सागर, गुना, खण्डवा, खरगोन, कटनी, दमोह, विदिशा, बड़वानी, मुरैना, बैतूल, श्योपुरकला, भिण्ड, भोपाल, सिवनी, छिंदवाड़ा, बुरहानपुर, छतरपुर, उमरिया, धार, राजगढ़, मण्डला, शिवपुरी और अशोकनगर में होगी। उड़द की खरीदी जबलपुर, कटनी, नरसिंहपुर, दमोह, छिंदवाड़ा, पन्ना, मण्डला, उमरिया और सिवनी सहित 10 जिलों में की जायेगी।
इस तरह की तैयारी: प्रदेश में मूंग एवं उड़द के उपार्जन के लिए 741 खरीदी केंद्र बनाए गए हैं। अभी 32 जिलों में मूंग फसल के लिए 2 लाख 34 हजार 749 कृषकों द्वारा 6 लाख एक हजार हेक्टेयर रकबे का पंजीयन कराया गया है। 10 जिलों में उड़द फसल का 7 हजार 329 कृषकों द्वारा 10 हजार हेक्टेयर रकबे का उपार्जन के लिए पंजीयन कराया गया है। भारत सरकार की प्राईस सपोर्ट स्कीम की गाईडलाइन के अनुसार प्रतिदिन प्रति कृषक 25 क्विंटल मात्रा का उपार्जन किया जाना प्रस्तावित है। विपणन वर्ष 2022-23 के लिए मूंग का न्यूनतम समर्थन मूल्य 7 हजार 275 रूपए प्रति क्विंटल और उड़द का न्यूनतम समर्थन मूल्य 6 हजार 300 रूपए प्रति क्विंटल निर्धारित किया गया है।
किसानों के खातों में पहुंचे बिजली राहत के 386 करोड़
मध्य प्रदेश के किसानों के लिए यह हफ्ता दोहरी राहत लेकर आया है। इसकी वजह है किसानों के खाते में जुलाई महीने की सिंचाई सब्सिडी की राशि का अंतरण और सरकार द्वारा गल से की जाने वाली दलहन फसलों की सरकारी मूल्य पर खरीदी शुरू करना। राज्य शासन द्वारा मालवा और निमाड़ क्षेत्र के 13 लाख किसानों के खतों में यह राशि भेजी गई है। ज्ञात हो कि मालवा और निमाड़ के 13 लाख 25 हजार किसानों के खाते में सिंचाई सब्सिडी की राशि अंतरित की गई है। जुलाई महीने की राशि लगभग 385 करोड 98 लाख रुपए 13 लाख किसानों के खाते में जमा किया गया है। डजिटलाइजेशन प्रोसेस के तहत किसानों के खाते में तय समय के अंदर राशि को अंतरित कर दिया जाता है। इसके लिए किसानों के मोबाइल नंबर आधार नंबर, खाता और खसरा अधिक जानकारी जुटाई गए हैं। 1 वर्ष के सघन प्रयास के बीच 13 लाख किसानों के घरों और खेतों पर जाकर सभी जानकारी एकत्रित की गई और साथ ही विधिवत इसका परीक्षण भी किया गया। जिला प्रशासन की मदद से सभी किसानों की भेजी जानकारी खातों से मिलान करवाई गई और अब उन्हें डीबीटी के जरिए राशि अंतरित कर बड़ा लाभ दिया जा रहा है।