ऑपरेशन लोटस… भाजपा व कांग्रेस में छिड़ी जुबानी जंग

भाजपा व कांग्रेस
  • हम कोई  ऑपरेशन लोटस नहीं चला रहे , बोले वीडी

भोपाल/हरीश फतेहचंदानी/बिच्छू डॉट कॉम। राहुल गांधी की मध्यप्रदेश यात्रा से पहले प्रदेश की राजनीति बेहद गर्मा गई है। चल रहीं चर्चाओं के मुताबिक भाजपा ने राहुल गांधी की यात्रा को फ्लाप करने के लिए बेहद गोपनीय रणनीति बनाई है, जिसके तहत दो या तीन किस्तों में करीब एक दर्जन कांग्रेस विधायकों को भाजपा में शामिल करना है। इस तरह की चर्चाओं के जोर पकड़ने पर कांग्रेस अब भाजपा पर हमलावर हो गई है। उधर, भाजपा प्रदेशाध्यक्ष वीडी शर्मा का कहना है कि पार्टी इस तरह का कोई आपरेशन नहीं चला रही है, तो कांग्रेस नेताओं का दावा है कि   उनके बीच अब कोई गद्दार नहीं है।  आॅपरेशन लोटस की चर्चाओं में तेजी की वजह है राष्ट्रपति चुनाव में कई कांग्रेस विधायकों द्वारा पार्टी गाइड लाइन को तोड़कर द्रोपदी मुर्मू के पक्ष में मतदान करना। दरअसल कहा जा रहा है कि राहुल गांधी की यात्रा के मप्र में प्रवेश करने के समय भाजपा कांग्रेस के कुछ आदिवासी विधायकों को अपनी पार्टी में शामिल करा सकती है। उधर इस तरह की चर्चा जोरों पर है कि भाजपा नेता करीब डेढ़ दर्जन कांग्रेस विधायकों के संपर्क में हैं। जिसमें से कई विधायक भाजपा का दामन थाम सकते हैं।
दरअसल माना जा रहा है कि भाजपा के रणनीतिकार इस तरह का कदम उठाकर राहुल गांधी की यात्रा को पूरी तरह से फ्लाप करना चाहतें हैं। प्रति उत्तर में कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष कमलनाथ का भी दावा है कि भाजपा के कई विधायक उनके संपर्क में बने हुए हैं। यह बात अलग है कि भाजपा नेता प्रदेश में नए सिरे से किसी भी तरह के आपरेशन लौट्स चलाने से इंकार कर रहे हैं। इस मामले में भाजपा  प्रदेश अध्यक्ष वी डी शर्मा ने चर्चा में इस सवाल पर सीधे तो कुछ नहीं कहा पर उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कामों को जनता देख रही है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने गरीबों के जीवन बदलने का काम किया है। पार्टी की रीति और नीति से प्रभावित होकर कई लोग पार्टी से जुड़ रहे हैं। उसमें सभी शामिल हैं। उधर, कांग्रेस विधायकों के भाजपा में आने के सवाल पर नगरीय विकास मंत्री भूपेन्द्र सिंह का कहना है कि कोई ऑपरेशन लोटस भाजपा अपनी ओर से नहीं चलाती। कांग्रेस के लोग भाजपा से सम्पर्क कर रहे हैं। कुछ हमेशा संपर्क में रहते हैं। जो साफ छवि के हैं और स्वेच्छा से आना चाहते हैं उनका स्वागत है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस अपनी अंदरूनी उठापटक से भयभीत है। लिहाजा भाजपा पर आरोप लगा रही है।
कमलनाथ का दावा
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष व पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ का दावा है कि कुछ भाजपा विधायक उनके संपर्क में हैं, लेकिन वे कांग्रेस संगठन से जुड़े नेताओं को ही विधानसभा चुनाव में टिकट देंगे। यदि उन्हें भाजपा टिकट नहीं देगी, तो वे कांग्रेस से संपर्क करेंगे। दरअसल कांग्रेस विधायक लाखन सिंह ने दावा किया था कि भाजपा के कुछ विधायक पूर्व सीएम कमलनाथ के संपर्क में है। इस मामले में पूर्व नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह ने कहा कि जमीनी हकीकत देखकर भाजपा के कई नेता कांग्रेस पार्टी में आने के लिए तैयार हैं। सिंह ने कहा कि कांग्रेस में आने के लिए तैयार भाजपा नेताओं में कई विधायक, पूर्व विधायक व पूर्व सांसद तथा उनके रिश्तेदार हैं। पूर्व नेता प्रतिपक्ष ने कहा दो माह में नामों का खुलासा करेंगे। इस मामले में विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष डॉ. गोविंद सिंह का कहना है कि हमारी कांग्रेस में ऐसा कोई गद्दार नहीं है, जो पीठ में छुरा घोंपे। हमारी जानकारी में ऐसा कोई नेता नहीं है। उन्होंने कहा कि हमारे नेता कमलनाथ इतने सक्षम है कि एक झटके में ऐसे लोगों को पार्टी से बाहर निकाल देते हैं। मुझे एक वफादार की जरूरत है, 100 गद्दारों की नहीं। डॉ. सिंह ने कहा कि पूरे देश में भारत जोड़ो यात्रा को मिल रहे भारी जनसमर्थन से भाजपा बौखला गई है।
इस तरह की है चर्चा
जिन कांग्रेस विधायकों के दलबदल की चर्चा है, उनमें मालवा निमाड़ के तीन विधायकों के नाम बताए जा रहे हैं।  यह वे विधायक हैं जो बीते लंबे समय से पार्टी से नाराज चल रहे हैं। कहा तो यह भी जा रहा है कि इनमें से एक की तो भाजपा नेताओं से बातचीत तक हो चुकी है , लेकिन उस समय किसी वजह से मामला आगे नही बढ़ सका था। निमाड़ में एक विधायक पहले ही खंडवा लोकसभा उपचुनाव के दौरान मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के साथ मंच पर नजर आ चुके हैं। इसी तरह से राहुल की यात्रा के रास्ते में पड़ने वाले विधानसभा क्षेत्रों के कुछ और विधायकों के दलबदल की तैयारी की बात कही जा रही है। उधर , महाकौशल और बुंदेलखंड से दो-दो और ग्वालियर-चंबल अंचल से एक विधायक के नाम की भी दलबदल के लिए चर्चा बताई जा रही है। इन पर कांगें्रस द्वारा भी बेहद गोपनीय तौर पर नजर रखने की बात कही जा रही है।
इस वजह से व्यक्त की जा रही संभावना
 दलबदल की संभावनाओं के पीछे की बड़ी वजह राष्ट्रपति चुनाव के समय प्रदेश में कांग्रेस विधायकों द्वारा किया गया मतदान है। मतदान में कांग्रेस के 19 विधायकों ने भाजपा प्रत्याशी द्रौपदी मुर्मू के पक्ष में मतदान किया था। इनमें से अधिकांश विधायक आदिवासी समुदाय के बताए जाते हैं। बताया जाता है कि यह विधायक पार्टी समर्थित प्रत्याशी को लेकर असहमत थे। यह बात अलग है कि इस मामले में कांग्रेस ने यह पता लगा लिया था कि उनके दल के किन विधायकों ने विपक्षी दल के उम्मीदवार को मत दिया है। इसके बाद भी दल बदल के डर से उन विधायकों पर कार्रवाई करने की जगह मामला ठंडे बस्ते में डाल दिया गया था।

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