- वेबसाइट पर भी देखी जा सकेगी सभी जानकारी
भोपाल/गौरव चौहान/बिच्छू डॉट कॉम। आधुनिक संचार साधनों का अब प्रदेश के शासकीय विभागों में तेजी से उपयोग करने की कवायद जारी है। इसके उपयोग बढ़ने से आम आदमी को आने जाने से जहां बड़ी राहत मिल सकेगी, वहीं विभागों के कामकाज में तेजी आएगी। यही वजह है कि कई विभागों द्वारा अब अपना पूरा कामकाज ऑनलाइन करने की तैयारी की जा रही है। इसी के तहत अब मप्र राजस्व मंडल ने भी अपना सभी काम ऑनलाइन करने का फैसला कर लिया है। इस नई व्यवस्था के तहत मंडल में अपील, पुनर्विलोकन या पुनरीक्षण के लिए आवेदन रेवेन्यू केस मैनेजमेंट सिस्टम के पोर्टल के माध्यम से ही स्वीकार करेगा।
इसके तहत मंडल द्वारा नोटिस जारी करने से लेकर पारित आदेशों को ऑनलाइन किया जाएगा। इन सभी दस्तावेजों को आम लोग उसकी वेबसाइट पर देख सकेगें। जानकारी के अनुसार राज्य सरकार द्वारा भू राजस्व संहिता राजस्व मंडल रेवेन्यू बोर्ड की प्रक्रिया नियम तैयार करा लिए गए हैं। अब इन पर दावे आपत्तियों के लिए पंद्रह दिन का समय तय किया गया है। इसके लागू होने के बाद ऐसी अपील और आवेदनों को एक मामले के रुप में रजिस्ट्रीकृत किया जाएगा जो रजिस्ट्रार के समक्ष पक्षकार को उपस्थित होंने के लिए तारीख तय की जाएगी। इसमें एक पखवाड़े से अधिक का समय नहीं दिया जाएगा। इसकी मंजूरी भी आॅनलाईन जारी की जाएगी। इसी तरह से रेवेन्यू बोर्ड के अध्यक्ष एक सदस्य से दूसरे सदस्य के पास अपील की सुनवाई ऑनलाइन ट्रांसफर कर सकेंगे। मंडल के सभी निर्णय भी आॅनलाईन देखे जा सकेंगे।
पंजीयन से लेकर सूचीबद्ध का काम भी होगा आॅनलाईन
रेवेन्यू बोर्ड में आने वाली अपील का ज्ञापन या पुनरीक्षण का आवेदन रजिस्ट्रर सर्किट बैंच का रीडर इस मामले को रेवेन्यू केस मैनेजमेंट सिस्टम में पंजीयन करेगा। सूचना भी इसी सिस्टम से जारी की जाएगी। पक्षकारों की अनुपस्थिति में मामले को सुना जा सकेगा अथवा खारिज किया जा सकेगा। सुनवाई के लिए नियत मामलों को दशार्ने वाली वाद की सूची की एक प्रति भी रेवेन्यू केस मैनेजमेंट सिस्टम पर प्रदर्शित की जाएगी। इसी तरह से कोई आदेश पारित किया जाएगा तो रीडर रेवेन्यू केस मैनेजमेंट सिस्टम में उसे और शेष मामलों को भी अद्यतन किया जाएगा।
इलेक्ट्रॉनिक रजिस्टर की होगी व्यवस्था
रेवेन्यू बोर्ड में रजिस्ट्रीकृत सभी मान्यता प्राप्त क्लर्को का इलेक्ट्रॉनिक रूप में रजिस्टर रखा जाएगा। इसमें क्रमांक से लेकर नाम, वल्दियत, पता, मोबाइल, ईमेल, रजिस्ट्रीकरण की तारीख, विधि व्यवसायी का नाम, रजिस्टर से हटाए जाने की तारीख और कारण का भी ब्यौरा रहेगा। इसी तरह से प्रत्येक मामले के साथ अपीलार्थी अथवा आवेदक या उसके अधिवक्ता द्वारा दी गई जानकारी को लेजर पेपर पर लेकर पूरी जानकारी कंप्यूटर शीट पर तैयार की जाएगी। इसमें ज्ञापन, आवेदन, प्रत्युत्तर, दस्तावेजों की सूची और शपथ पत्र की जानकारी शामिल होगी। आवेदनों की तामीली और अभिस्वीकृति भी इसी तरह दी जा सकेगी।
14/09/2021
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