एमपी में मिशन सेहत से सुधरेगी.. अस्पतालों की सूरत

 शिवराज सिंह चौहान
  • शिवराज सरकार की बड़ी तैयारी

    भोपाल/गौरव चौहान/बिच्छू डॉट कॉम। मप्र की स्वास्थ्य व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान 21 जुलाई से मिशन सेहत शुरू करने जा रहे हैं।  इस मिशन के तहत अस्पतालों की सूरत को सुधारा जाएगा। इसके लिए 140 करोड़ रूपए के बजट की व्यवस्था की गई है। प्राप्त जानकारी के अनुसार 3 महीना तक मिशन मोड में काम किए जाने के बाद दिवाली तक प्रदेश के शासकीय अस्पतालों की स्थिति में अत्यधिक सुधार देखने को मिलेगा।
    स्वास्थ्य विभाग से मिली जानकारी के अनुसार मिशन सेहत के तहत शासकीय अस्पतालों की बिल्डिंग, खराब उपकरण, फटे पुराने गद्दे सहित कंडम मशीनों की बदली की जाएगी। इसके अलावा सेहत के तहत  प्रदेश के जिला अस्पताल सिविल हॉस्पिटल सहित अत्याधुनिक मशीनें लगाई जाएगी। इसके लिए विभाग ने तैयारी पूरी की है। सीटी स्कैन मशीन, कंप्यूटर एक्सरे, सोनोग्राफी मशीन अस्पतालों को उपलब्ध कराई जाएगी।
    डायलिसिस यूनिट में नो वेटिंग पीरियड को लागू
    मिशन सेहत के तहत हर मध्यप्रदेश के हर जिलों के शासकीय अस्पताल की डायलिसिस यूनिट में नो वेटिंग पीरियड को लागू किया जाएगा और 5-5 डायलिसिस मशीन लगाई जाएगी। मरीजों को घंटों लाइन में खड़ा ना होना होना पड़े, इसके लिए अत्याधुनिक तकनीक से क्यू मैनेजमेंट सिस्टम लागू किया जाएगा। इसके अलावा ओपीडी में बीएमआई मापने के लिए मशीन तैयार की जाएगी। अस्पताल में खून की कमी ना हो, इसके लिए हाई क्वालिटी ब्लड कंपोनेंट सेपरेटर मशीन लगाने पर विचार किया गया है। मिशन सेहत के तहत हर जिला अस्पताल को 10, सिविल हॉस्पिटल को 3 और सीएचसी को 2 हाइड्रोलिक बेड दिए जाएंगे। प्रदेश में 37975 बेड के लिए नए चादर, तकिए और गद्दे खरीदे जाएंगे। एक बेड के लिए सात बेड शीट्स खरीदी जाएंगी।
    गड़बड़ी करने वाले आठ अस्पतालों पर एक करोड़ का जुर्माना
    राजधानी सहित मप्र में आयुष्मान योजना में गड़बड़ी करने वाले निजी अस्पताल अब स्वास्थ्य विभाग के रडार पर आ चुके हैं। भोपाल में अब दो अस्पतालों पर एफआईआर के साथ साथ लायसेंस निरस्तीकरण की कार्रवाई हो चुकी है। वहीं अब जानकारी मिली है कि स्वास्थ्य विभाग ने छह और अस्पतालों पर कार्रवाई करते हुए करीब एक करोड़ रुपए का जुर्माना लगाया है और योजना से डिस्पेनल्ड कर दिया है। इससे पहले दो अस्पतालों गुरु आशीष और वैष्णव के खिलाफ कार्रवाई कर अस्पताल संचालकों पर एफआईआर दर्ज कराई जा चुकी है। यही नहीं सीएमएचओ द्वारा इन अस्पतालों की मान्यता रद्द करने की कार्रवाई भी की। मालूम हो कि शहर के निजी अस्पतालों में आयुष्मान योजना में जमकर धांधली की शिकायतें मिल रही थीं। इन शिकायतों के आधार पर स्टेट हेल्थ एजेंसी ने शहर के 50 अस्पतालों में जांच की। इनमें से 18 अस्पतालों मे गड़बडिय़ां मिली थी। इन अस्पतालों द्वारा फर्जी मरीजों को भर्ती किए बिना क्लेम लेने, मरीजों को दूसरी बीमारी में भर्ती करने जैसी गड़बड़ियां की गई थी। जांच रिपोर्ट के आधार पर अब इन अस्पतालों पर कार्रवाई की जा रही है।
    अस्पतालों पर खर्च होंगे 140 करोड़
    स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों की मानें तो 52 जिला अस्पताल, 119 सिविल अस्पताल सहित 356 सीएचसी और 1266 पीएचसी सहित 10,000 से अधिक उप स्वास्थ्य केंद्र हैं। जिसके सुधार के लिए 140 करोड़ रुपए खर्च किए जाएंगे। साधारण मरम्मत के लिए करीब 55 करोड़ और बड़े सुधार के लिए 85 करोड़ रुपए खर्च किए जाएंगे। वहीं खंडवा, दतिया, विदिशा सहित मंडला शाजापुर के जिला अस्पताल सहित अन्य अस्पतालों में सिटी स्कैन मशीन लगाई जाएगी जबकि सभी जिला अस्पतालों के 19 सिविल अस्पताल में सोनोग्राफी मशीन लगाए जाने की तैयारी की गई है। इसके अलावा 41 जिला अस्पताल में डिजिटल रेडियोग्राफी एक्सरे मशीनें उपलब्ध कराई जाएगी।
    डिजिटल एक्स-रे और पोर्टेबल सोनोग्राफी मशीनें
    मिशन सेहत के तहत प्रदेश के जिला अस्पतालों, सिविल हॉस्पिटल, सीएचसी पर जांचों के लिए अत्याधुनिक मशीनें लगाई जाएंगी। इसके लिए विभाग सीटी स्कैन मशीन, कम्प्यूटराइज्ड एक्स-रे, सोनोग्राफी मशीनें खरीद कर लगवाई जाएंगी। अभी प्रदेश के 43 जिला अस्पतालों और 3 सिविल अस्पतालों में सीटी स्कैन की सुविधा उपलब्ध है। 30 अगस्त तक मंडला और शाजापुर जिला अस्पताल में भी यह सुविधा शुरू हो जाएगी। खंडवा, दतिया और विदिशा जिला अस्पतालों में भी सीटी स्कैन मशीन लगाई जाएगी। वहीं प्रदेश के सभी जिला अस्पतालों 19 सिविल अस्पतालों में सोनोग्राफी जांच की सुविधा दी जा रही है। 19 करोड़ 80 लाख रुपए से 153 यूएसजी मशीनों की खरीदी की जाएगी। वर्तमान में प्रदेश में कुल 10 अत्याधुनिक डिजिटल रेडियोग्राफी एक्स-रे मशीन और 124 कंप्यूटराइज्ड रेडियोग्राफी मशीनें हैं। इस जांच सुविधा को बढ़ाने के लिए 41 जिला अस्पतालों को डिजिटल रेडियोग्राफी एक्स-रे मशीनें दी जाएगी। सभी सिविल अस्पतालों और सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों को कुल 118 कंप्यूटेड रेडियोलॉजी मशीन दी। जाएगी। इसमें 45 करोड़ रुपए से मशीनें खरीदी जाएगी।

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