मध्यप्रदेश सरकार का… हरियाली पर फोकस

  • गौरव चौहान
मध्यप्रदेश सरकार

मप्र में सरकार हरियाली बढ़ाने की दिशा में काम कर रही है। इसके लिए शहरों में नगर वन बनाए जा रहे हैं। इस दिशा में भारत सरकार ने राज्य के 17 जिलों में 29 नगर वन बनाने के लिए 29 करोड़ 28 लाख की स्वीकृति दी है। पहली किश्त के रूप में 20 करोड़ 50 लाख से अधिक की राशि भी जारी कर दी गई है। ये नगर वन राष्ट्रीय प्रतिपूरक बना रोपण निधि प्रबंधन एवं योजना के अंतर्गत बनाए जा रहे हैं। प्रदेश में नगर वन को मूर्त रूप देने की जिम्मेदारी ग्रीन इंडिया मिशन को दी गई है। पूर्व मुख्यमंत्री एवं केंद्रीय कृषि कल्याण मंत्री शिवराज सिंह के गृह जिले सीहोर 50-50 हेक्टेयर के तीन नगर वन मनाया जाना प्रस्तावित हैं। इसे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का ड्रीम प्रोजेक्ट के रूप में भी बताया जा रहा है।
शहरी क्षेत्रों में नगर वन बनाने के पीछे मुख्य मकसद यही है कि वन और पर्यावरण के प्रति आम पब्लिक को जागरूक बनाना है। नगर वन में वॉकिंग व जॉगिंग ट्रैक बनाया जाएगा। योग के लिए स्थान उपलब्ध कराया जाएगा, जिस पर कारपेट ग्रास लगाई जाएगी। लोगों को पेड़, पौधों व वन्यप्राणियों के बारे में जानकारी देने के लिए व्याखानमाला बनाई जाएगी। यहां छोटा झरना व छोटे-छोटे सॉसर बनाए जाएंगे, जिसमें कमल व अन्य जलीय वनस्पति लगाई जाएगी। वहीं बच्चों के लिए चिल्ड्रन पार्क भी होगा।
राशि भी स्वीकृत
प्रदेश में शहरी क्षेत्रों में शुद्ध जलवायु प्रदान करने तथा शहरी निवासियों को प्रकृति की अनुभूति प्रदान करने के उद्देश्य से नगर वनों एवं नगर वाटिकाओं की स्थापना की गई है। प्रदेश में स्थापित नगर वनों की संख्या 50 से अधिक है। वन विभाग द्वारा निरंतर नए नगर वन विकसित करने के प्रस्ताव केंद्र शासन को प्रेषित किये जा रहे हैं।  विभाग का लक्ष्य प्रदेश में कम से कम ऐसे 100 नगर वन विकसित करने का है। वित्तीय वर्ष 2024-25 में इसे कंप्लीट किया जाना है। नगर वन के लिए स्थान का भी चयन कर लिया गया है। सीहोर वन मंडल के रिजर्व फॉरेस्ट के कंपार्टमेंट 634-635 में 50 हैक्टयर, प्रोटेक्शन फॉरेस्ट के कंपार्टमेंट 645 के बीट खटपुरा में 50 हैक्टयर और तीसरा नगर वन रिजर्व फॉरेस्ट के कंपार्टमेंट 26 के कोनझिर में भी हैक्टयर 50 हेक्टेयर क्षेत्र में नगर वन बनाए जाएंगे। तीनों नगर वन को बनाने के लिए 22 करोड़ रुपए स्वीकृत किए गए हैं। इनमें से पहली किश्त के रूप में 4 करोड़ 20 लाख जारी कर दिए गए हैं। इसी प्रकार देवास और मंदसौर में भी तीन-तीन नगर वन बनाए जाएंगे। देवास के बागली में डेढ़ करोड़ की लागत से 40 हेक्टेयर में नगर वन बनाया जाएगा।
मुख्यमंत्री के गृह जिले में बनेंगे दो नगर वन
मुख्यमंत्री मोहन यादव के गृह जिले उज्जैन के लिए चार हेक्टेयर से भी कम क्षेत्र में नगर वन स्वीकृत किया गया। इसमें महिदपुर में 3.30 हेक्टयर और मकरोन में दो हेक्टेयर में नगर वन बनाया जाना प्रस्तावित है, जिस पर मात्र 22 लाख की स्वीकृति दी गई है। वर्तमान वन मंत्री नागर सिंह चौहान के गृह जिला अलीराजपुर और पूर्व वन मंत्री एवं आदिम जाति कल्याण मंत्री विजय शाह के गृह जिले में एक भी नगर वन स्वीकृत नहीं किया गया है, जबकि राजधानी भोपाल के लहारपुर में दो करोड़ की लागत से 50 हेक्टयर में नगर वन बनाया जाना प्रस्तावित है। एपीसीसीएफ ग्रीन इंडिया मिशन पीएल धीमान का कहना है कि प्रदेश की बढ़ती आबादी और क्लाइमेट चेंज के असर को कम करने के लिए तैयार किए नगर वन शहरों के लिए ऑक्सीजन बैंक का काम करेंगे। इसमें ज्यादा से ज्यादा ऑक्सीजन देने वाले पौधे रोपे जाएंगे। पौधों और जैव विविधता के बारे में जागरूकता पैदा करना और पर्यावरण संरक्षण का विकास करने की मंशा से नगर वन बनाया जा रहा है।

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