23 अरब रुपए के निवेश से मप्र में भी दमकेगा हीरा

  • ढोलकिया ग्रुप के प्रमुख ने दिया प्रसताव
  • गौरव चौहान
दमकेगा हीरा

मप्र में भले ही हीरा पाया जाता है, लेकिन इसके तरासने का काम गुजरात और महराष्ट्र जैसे प्रदेशों में होता है, जिससे हीरा का पूरा कारोबार इन प्रदेशों में ही होता है, लेकिन अब मप्र भी इस दिशा में आगे बढऩे जा रहा है। इसकी वजह है ग्लोबल इन्वेस्टर समिट (जीआइएस) से पहले आ रहे निवेश के प्रस्ताव। सरकार का अनुमान था कि पोर्टल पर ही करीब छह करोड़ रुपए के प्रस्ताव मिल जाएगें, जिसमें से अब तक साढ़े तीन लाख करोड़ रुपये से अधिक के निवेश प्रस्ताव आ चुके हैं। ऐसा ही एक प्रस्ताव हीरो तराशने को  लेकर मिला है। यह प्रस्ताव दिया है ढोलकिया ग्रुप के डायरेक्टर राजेश ढोलकिया ने। उनकी कुछ दिनों पहले ही मुख्यमंत्री डा मोहन यादव से हुई थी। वे मप्र में 2300 करोड़ रुपये का निवेश करने जा रहे हैं। इसके लिए उनके द्वारा भोपाल में 25 एकड़ भूमि मांगी गई है। अगर जमीन मिलती है तो फिर भोपाल में हीरा तराशने का उपक्रम लगाया जाएगा। इससे रोजगार के अवसर बढ़ेंगे। अहम बात यह है कि पूर्व में डोलकिया ग्रुप ने विदेश में निवेश करने की योजना बनाई थी , लेकिन प्रदेश में अनुकूल नीतियों और मुख्यमंत्री से चर्चा करने के बाद उन्होंने अपनी योजना बदलकर मप्र में निवेश का मना बनाया है। मुख्यमंत्री डा. यादव ने इस पहल का स्वागत किया और सरकार की ओर से हरसंभव सहयोग का आश्वासन भी दिया। 14 फरवरी तक एमएसएमई में 5035.01 करोड़ के 492 निवेश प्रस्ताव मिले हैं। इंग्लैंड, जर्मनी और जापान जैसे देश कंट्री पार्टनर के रूप में मध्य प्रदेश में निवेश करने आ रहे हैं। इन देशों के 30-30 सदस्यों के दल जीआइएस में हिस्सा लेंगे। युनिक्ला कंपनी जीआइएस में 15 सदस्यीय दल भेजेगी। कनाडा का एक निजी समूह मैक्कैन 4500 करोड़ का निवेश फूड प्रोसेसिंग सेक्टर में करेगा। फ्रेंड्स आफ एमपी चैप्टर विदेशी निवेश भारत लाने में मददगार होंगे।23 को होटल ताज में वीवीआईपी डिनर…समिट में शामिल होने वाले कई उद्योगपत्ति 23 फरवरी को ही भोपाल पहुंच जाएंगे। उनके स्वागत के लिए एक बीवीआईपी डिनर आयोजित किया गया है, जिसमें मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव सहित लगभग 250 उद्योगपति शामिल होंगे। 24 और 25 फरवरी को मानव संग्रहालय में लंच की व्यवस्था होगी, जबकि 24 फरवरी का गाला डिनर भी यहीं आयोजित किया जाएगा। यदि 25 फरवरी को उद्योगपति भोपाल में रुकते हैं, तो वे अपने संबंधित होटलों में डिनर करेंगे। गाला डिनर के दौरान सांस्कृतिक कार्यक्रम भी प्रस्तुत किए जाएंगे।प्रदेश का भी टेस्ट मिलेगा ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट के लिए ऐसा मेन्यू तैयार किया गया है, जो मध्यप्रदेश की सांस्कृतिक और खानपान विरासत को पहचान को मजबूती देगा। इसे प्रदेश के विभिन क्षेत्रों की विशिष्ट व्यंजनों को ध्यान में रखते हुए तैयार किया गया है। जैसे-मालया के दाल काफले, निमाड़ की दाल-पानिया, बुंदेलखंड और बघेलखंड की पारंपरिक और लोकप्रिय डिशेज भी इसमें शामिल हैं।इंदौर की हींग कचौरी, उज्जैन की कुल्फी का स्वाद चखेंगे जीआईएस में आने वाले मेहमानों का स्वागत वेलकम ड्रिंक के रूप में मसाला छाछ और सूप में टमाटर-धनिए के शोरबे से किया जाएगा। लंच और डिनर में 70 से अधिक व्यंजन परोसे जाएंगे। इनमें मध्यप्रदेश, राजस्थान, बिहार, पंजाब और दक्षिण भारतीय व्यंजन तो होंगे ही, साथ ही थाई और चाइनीज फूड भी शामिल रहेगा। भोपाल में पहली बार 24-25 फरवरी को मानव संग्रहालय में ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट आयोजित हो रही है। इसमें देश के प्रमुख उद्योगपति, जैसे अंबानी, अडाणी, महिंद्रा, टाटा और बिड़ला समेत 30,000 से अधिक राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय बिजनेस लीडर्स शिरकत करेंगे। जापान, स्पेन, हांगकांग सहित कई अन्य देशों से विदेशी निवेशक भी समिट में भाग लेंगे। मेहमानों के स्वागत के लिए एमपी टूरिज्म बोर्ड ने एक खास मेन्यू तैयार किया है, ताकि विदेशी और भारतीय अतिथियों को मध्यप्रदेश के स्वादिष्ट पारंपरिक व्यंजन परोसे जा सकें। मेन्यू में बिहारी लिट्टी- चोखा और पंजाबी तडक़ा भी शामिल किया गया है।5 तरह की चाट और 15 तरह की मिठाई मेन्यू में 5 तरह की चाट शामिल की गई है। हींग, आलू और प्याज को कचोरी खाने को मिलेगी। मशरूम और ब्रोकली की खिचड़ी समेत आलू, गोभी, मूली और पनीर के पराठे भी परोसे जाएंगे। 15 तरह के स्वीट्स भी रहेंगे। इनमें सबसे खास मालपुआ, जलेबी-रबड़ी, मलाई सैंडविच, कुटको की शुगर फी खोर सबसे खास है।

Related Articles