शिक्षकों को हाईटेक बनाने पर सरकार करेगी पौने दो सौ करोड़ खर्च

शिक्षकों

चार साल बाद इसका उपयोग किया जा सकेगा निजी रुप से

भोपाल/गौरव चौहान/बिच्छू डॉट कॉम। प्रदेश सरकार अब अपने प्राथमिक स्कूलों के शिक्षकों को भी हाईटेक बनाने जा रही है। इसके लिए उन्हें विभाग ओर से एक टेबलेट भी दिया जाएगा। यह बात अलग है कि अभी इस पर वे सिर्फ सरकारी कामकाज ही कर सकेंगे। इसकी मदद से शिक्षक पढ़ाई के साथ-साथ सूचनाएं और स्कूल से संबंधित कार्यक्रमों को कर सकेंगे। यही नहीं टैबलेट की मदद से शिक्षक आॅनलाइन टीचिंग से जुड़ेंगे। इसके साथ ही इनको चलाने के लिए बाकायदा विभाग उन्हें प्रशिक्षित भी करेगा। इन्हें खरीदने के लिए शीघ्र ही शिक्षकों के खाते में राशि डाल दी जाएगी। अहम बात यह है कि इसके लिए शिक्षकों को विभाग द्वारा दस हजार रुपए का भुगतान किया जाएगा , लेकिन अगर शिक्षक चाहें तो इससे अधिक कीमत का टेबलेट भी खरीद सकते हैं , लेकिन अधिक कीमत का भुगतान शिक्षक को अपनी जेब से करना होगा। बताया जा रहा है कि प्रदेश के सरकारी प्रायमरी स्कूलों में इस समय करीब पौने दो लाख टीचर हैं , जिन्हें टेबलेट देने पर करीब 173 करोड़ रुपए खर्च किए जाएंगे। इसके तहत हर शिक्षक के खाते में टेबलेट खरीदने के लिए दस-दस हजार दिए जाएंगे। यह राशि अगले हफ्ते तक उनके खातों में डाल दी जाएगी। इसके बाद उन्हें हर हाल में 15 दिसंबर तक यह टेबलेट खरीदना होंगे। इसी टेबलेट से स्कूलों में आनलाइन पढ़ाई समेत अन्य कार्य करना अनिवार्य रहेगा। यह टेबलेट कंप्यूटर मध्य प्रदेश शासन के इनफॉरमेशन एंड टेक्नोलॉजी डिपार्टमेंट से डायरेक्ट कनेक्ट रहेगा। इसके लिए वित्त विभाग ने 173 करोड़ रुपए का प्रावधान भी कर दिया है। यही नहीं इसके लिए मुख्य सचिव  इकबाल सिंह बैंस की अध्यक्षता में एक उच्च स्तरीय बैठक में निर्णय ले लिया गया है। उल्लेखनीय है कि इससे पहले हाई स्कूल एवं हायर सेकेंडरी स्कूल के शिक्षकों को टेबलेट दिए जा चुके हैं, लेकिन वह शासकीय प्रक्रिया और व्यवस्था के अनुसार दिए गए थे। अपनी मर्जी से खरीदने की स्वतंत्रता नहीं थी।
हर विकास खंड को भी दिए जाएंगे साढ़े छह लाख
प्रदेश के 322 विकासखंडों में लर्निंग रिसार्स पैकेड के तहत कंप्यूटर, प्रिंटर समेत अन्य सामग्री दी जा रही है। हर विकासखंड में 6.40 लाख रुपए दिए जाएंगे। विकास खंडों को दिए जा रहे कंप्यूटर, प्रिंटर की खरीदी कलेक्टर की कमेटी के माध्यम से की जाएगी। खरीदी 31 दिसंबर के पहले करना होगी। यह टेबलेट कंप्यूटर मध्य प्रदेश शासन के इनफॉरमेशन एंड टेक्नोलॉजी डिपार्टमेंट से डायरेक्ट कनेक्ट रहेगा।
शिक्षकों को स्वयं करनी होगी खरीदी
खास बात यह है कि टैबलेट शिक्षकों को खुद ही खरीदने होंगे। इसके लिए राज्य शिक्षा केंद्र की तरफ से दस दस हजार रुपए दिए जाएंगे। शिक्षक को टेबलेट का अपग्रेड मॉडल पसंद आता है, तो वह अपनी तरफ से कुछ राशि मिलाकर भी खरीद सकता है। टैबलेट खरीदने के बाद शिक्षक उसके बिल अपलोड करेगा। इसके बाद शिक्षक के खाते में दस हजार रुपए दे दिए जाएंगे। यह व्यवस्था इसलिए बनाई गई है जिससे की शिक्षक अपनी पसंद के आधार पर इसकी खरीदी कर सकें और उसको लेकर कोई विवाद खड़ा नहीं हो। इन टेबलेटों के उपयोग की अवधि चार साल तय की गई है। राज्य स्तर से टेबलेट को चार साल तक ट्रैक किया जाएगा। चार साल बाद उक्त टैबलेट का उपयोग शिक्षक स्वयं के कामों के लिए कर सकेंगे। चार वर्ष की समय सीमा में यदि टैबलेट क्षतिग्रस्त अथवा गुम हो जाता है, तो शिक्षक को स्वयं के व्यय पर नया  खरीदना होगा।
इन शिक्षकों को रहेगी छूट
जिन शिक्षकों की सेवा अवधि में महज दो साल का समय रह गया है उन्हें सरकारी राशि से खरीदे गए टैबलेट का दो साल उपयोग करना होगा । इसके अलावा शेष दो साल की राशि पांच हजार रुपए उन्हें विभाग को लौटानी होगी। इसके लिए उन्हें हर साल 2500 रुपए देने होंगे। टेबलेट की समयावधि की गणना टैबलेट के क्रय करने की दिनांक से होगी। उदाहरण यदि शिक्षक के द्वारा 3 वर्ष टैबलेट का उपयोग किया जाता है तो राशि 2500 व 2 वर्ष टैबलेट उपयोग किया जाता है तो 5000 की राशि जमा करनी होगी। ऐसे शिक्षक जिनकी सेवानिवृत्त की अवधि 2 वर्ष से कम है ऐसे शिक्षकों को टेबलेट क्रय करने में वैकल्पिक छूट दी जा रही है।

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