- सालों से एक ही जगह पदस्थ हैं ये अधिकारी
भोपाल/बिच्छू डॉट कॉम। अफसरशाही में कोई इसलिए परेशान होता है कि उसका जल्दी-जल्दी ट्रांसफर होता है और कोई इसलिए चिंता में है कि वह लंबे समय से एक ही जगह पदस्थ है। मध्य प्रदेश पुलिस में भी कुछ ऐसी ही स्थिति है। आठ सीनियर आईपीएस अधिकारी ऐसे हैं, जो करीब चार साल से एक ही जगह पर पदस्थ हैं, या दूसरे शब्दों में कहें तो सरकार को उनकी चिंता नहीं है, जबकि ये अधिकारी पहले पुलिस महकमे में मैनस्ट्रीम के कई अहम दायित्व संभाल चुके हैं। इनमें सबसे पहला नाम आईपीएस संजीव शमी का है। वे अक्टूबर 2019 से चयन और भर्ती सेक्शन में पदस्थ हैं, जबकि इससे पहले वे कई अहम पदों पर पदस्थ रहे हैं। उनकी गिनती तेजतर्रार आईपीएस अधिकारियों में होती है। वे 2008 के विधानसभा चुनाव में तब ज्यादा चर्चा में आए थे, जब उन्होंने इंदौर एसपी रहते हुए 265 नेताओं पर कार्रवाई करते हुए केस दर्ज कराया था। वे स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम यानी एसआईटी के चीफ भी रह चुके हैं।
ये अधिकारी 2021 से एक ही जगह पोस्टेड: वहीं, आईपीएस मनीष शंकर शर्मा वर्ष 2021 से पुलिस मैन्युअल में हैं। आईपीएस रवि गुप्ता 2021 से डायरेक्टर स्पोट्र्स हैं। आईपीएस साई मनोहर वर्ष 2021 से दिल्ली स्थित मध्यप्रदेश भवन में ओएसडी हैं। इससे पहले वे भोपाल जोन आईजी पदस्थ थे। एडीजी चंचल शेखर फरवरी 2021 से एससीआरबी में पदस्थ हैं। सितंबर 2021 से आईपीएस शैलेष सिंह पुलिस सुधार शाखा में पोटटेड हैं, जबकि उनका स्पेशल डीजी के पद पर प्रमोशन हो चुका है।
सरकार ने नहीं दी नई जिम्मेदारी
इसी तरह आईपीएस सुधीर शाही फरवरी 2021 से रेल डीजी हैं। एडीजी शाहिद अफसार भी फरवरी 2021 से ईओडब्ल्यू में काम कर रहे हैं। सरकार इन अधिकारियों को नई जिम्मेदारी नहीं दे रही है, लिहाजा ये 3 से 4 साल से एक ही जगह पर पदस्थ हैं। मध्यप्रदेश पुलिस में कई अफसरों का प्रमोशन भी हो चुका है, लेकिन वे अब तक पुराना ही काम कर रहे हैं।
30 नवम्बर को रिटायर हो रहे डीजीपी
इधर, प्रदेश में अब नए डीजीपी की तलाश भी तेज हो गई है। मौजूदा डीजीपी सुधीर कुमार सक्सेना 30 नवम्बर को सेवानिवृत्त हो रहे हैं। वे 4 मार्च 2022 को एमपी के डीजीपी बनाए गए थे। फिलहाल यह तय नहीं है कि सूबे में खाकी का अगला मुखिया कौन होगा, फिलहाल दो नाम चर्चा में आए हैं, लेकिन फिलहाल सरकार के स्तर पर केंद्र को पैनल नहीं भेजा गया है।