जमीन पर बैठक कर पढ़ाई करने को मजबूर 14 लाख बच्चे

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52 में से 21 जिलों के स्कूलों में ही पहुंचा पाए फर्नीचर

भोपाल/अपूर्व चतुर्वेदी/बिच्छू डॉट कॉम। मप्र में सरकार स्कूली शिक्षा की गुणवत्ता सुधारने के साथ ही अधोसंरचना के विकास पर भी जोर दे रही है। इसी के तहत सरकार ने शासकीय माध्यमिक स्कूलों में बच्चों को पढ़ाई के लिए कुर्सी-टेबल उपलब्ध कराने की योजना बनाई थी। लेकिन अफसरों और सप्लायर कंपनी की लापरवाही से प्रदेश के 52 जिलों में से केवल 21 जिलों के स्कूलों में  ही फर्नीचर पहुंच पाया है।  इस कारण 31 जिलों के करीब 14 लाख छात्र जमीन पर बैठ कर पढ़ाई करने को मजबूर हैं।
दरअसल कोरोना काल में सुरक्षित शारीरिक दूरी का पालन करने के लिए प्रदेश भर के माध्यमिक स्कूलों में कुर्सी टेबल उपलब्ध कराने की योजना बनाई गई थी। इसके तहत जिलों की मांग पर फर्नीचर से वंचित स्कूलों के लिए 44 करोड़ रुपये से फर्नीचर उपलब्ध करवाने के आदेश जारी किए गए थे।  सप्लाई करने वाली कंपनियां अब तक 21 जिलों में 11 लाख विद्यार्थियों के लिए ही फर्नीचर पहुंचा सकीं, जबकि 31 जिलों के स्कूलों में 14 लाख बच्चों के लिए टेबल व कुर्सी ही नहीं पहुंची हैं। इस कारण इन 31 जिलों के माध्यमिक स्कूलों के विद्यार्थी इस सत्र में भी बिना कुर्सी टेबल के पढ़ाई करने के लिए मजबूर बने हुए  हैं।
पांचों फर्मों के टेंडर निरस्त
जानकारी के अनुसार प्रदेश के माध्यमिक कक्षाओं में 25 लाख विद्यार्थी अध्ययन कर रहे हैं। सरकार ने इन छात्रों के लिए फर्नीचर उपलब्ध कराने के लिए 44 करोड़ रुपए का बजट मुहैया कराया था। 21 जिलों में 54 हजार फर्नीचर मिल गए हैं।  जबकि 31 जिलों में 78 हजार फर्नीचर नहीं प्रदान किए गए। बच्चों के हिसाब से फर्नीचर की संख्या एक लाख 33 हजार होनी चाहिए।  अब विभाग ने इन जिलों के लिए जारी बजट को वापस लेकर संबंधित पांचों फर्मों के टेंडर निरस्त कर दिए हैं।  इस मामले में अधिकारियों का कहना है कि यूक्रेन युद्ध के कारण कच्चे माल की आपूर्ति नहीं होने कुर्सी व टेबल तैयार नहीं हो सके।  बड़े शहरों में भोपाल में 33 हजार विद्यार्थियों के लिए करीब 57 लाख, इंदौर में करीब साढ़े 42 हजार विद्यार्थियों के लिए 70 लाख और जबलपुर के 60 हजार विद्यार्थियों के लिए करीब एक करोड़ का बजट जारी किया गया।  यहां के स्कूलों में फर्नीचर पहुंच गया, सिर्फ ग्वालियर में कुर्सी टेबल की आपूर्ति नहीं हुई।  राज्य शिक्षा केंद्र के संचालक धनराजू एस का कहना है कि पिछले साल माध्यमिक स्कूलों में कुर्सी व टेबल प्रदान करने के लिए विभिन्न फर्मों को टेंडर जारी कर बजट स्वीकृत किया गया, लेकिन 31 जिलों में फर्म फर्नीचर उपलब्ध नहीं करा पाई।  इस कारण उनके टेंडर निरस्त कर दिए गए। अब फिर से प्रक्रिया शुरू की जाएगी।  जिसमें इन फर्मों को टेंडर नहीं दिया जाएगा।

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