गाजा में लोगों की परेशानियों से मैं मुंह नहीं फेर सकतीं: कमला हैरिस

कमला हैरिस

नई दिल्ली। इस्राइल के पीएम बेंजामिन नेतन्याहू से मुलाकात के बाद अमेरिकी उपराष्ट्रपति कमला हैरिस ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि ‘इस्राइल को अपनी रक्षा करने का अधिकार है, लेकिन वह ये कैसे करता है, यह मायने रखता है। उन्होंने गाजा में मानवीय आपदा पर चिंता जाहिर की, जिसमें बड़ी संख्या में आम नागरिकों की मौत हो रही है।’ कमला हैरिस ने साफ कहा कि गाजा में लोगों की परेशानियों से वह मुंह नहीं फेर सकतीं। कमला हैरिस ने कहा कि ‘मैंने यह कई बार कहा है, लेकिन इसे दोहराना जरूरी है। इजराइल को अपनी रक्षा करने का अधिकार है, लेकिन वह ये कैसे करता है, यह मायने रखता है। हमास एक क्रूर आतंकवादी संगठन है। 7 अक्टूबर को हमास ने 44 अमेरिकियों सहित 1,200 निर्दोष लोगों की हत्या करके इस युद्ध की शुरुआत की। हमास ने यौन हिंसा की और 250 लोगों को बंधक बनाया, जिनमें अमेरिकी नागरिक भी शामिल हैं। गाजा में अभी भी अमेरिकी नागरिक बंधक हैं।’

अपनी बैठक को लेकर कमला हैरिस ने कहा कि उन्होंने प्रधानमंत्री नेतन्याहू के साथ गाजा में आम नागरिकों की मौतों पर अपनी गंभीर चिंता व्यक्त की। हैरिस ने कहा कि ‘मैंने वहां की भयावह मानवीय स्थिति के बारे में अपनी गंभीर चिंता व्यक्त की। 20 लाख से ज्यादा लोग गंभीर खाद्यान्न संकट का सामना कर रहे हैं, और पचास लाख लोग भुखमरी के कगार पर हैं। पिछले नौ महीनों में गाजा में जो कुछ हुआ है, वह विनाशकारी है।’ कमला हैरिस ने कहा कि ‘मृत बच्चों और हताश, भूखे लोगों की तस्वीरें, जो सुरक्षा के लिए इधर से उधर भाग रहे हैं, लोगों को कभी-कभी दूसरी, तीसरी या चौथी बार विस्थापित होना पड़ रहा है। हम इन त्रासदियों के सामने आंखें नहीं फेर सकते और मैं इसे लेकर चुप नहीं रहूंगी।

हैरिस ने कहा ‘युद्ध विराम और बंधक समझौते के लिए एक समझौता हुआ है। समझौते का पहले चरण के तहत पूर्ण युद्ध विराम करने की कोशिश होगी, जिसमें गाजा में आबादी वाले क्षेत्रों से इस्राइली सेना की वापसी भी शामिल है। दूसरे चरण में, इस्राइली सेना गाजा से पूरी तरह से हट जाएगी और इससे शत्रुता का स्थायी अंत हो जाएगा।’ अमेरिका की उपराष्ट्रपति और अब राष्ट्रपति पद की उम्मीदवार कमला हैरिस ने कहा कि ‘इस युद्ध को समाप्त करने का समय आ गया है, और ये इस तरह से खत्म होना चाहिए कि इस्राइल सुरक्षित हो, सभी बंधकों को रिहा कर दिया जाए, गाजा में फलस्तीनियों की पीड़ा समाप्त हो जाए, और फलस्तीनी लोग स्वतंत्रता, सम्मान और आत्मनिर्णय के अपने अधिकार का प्रयोग कर सकें। इस सौदे पर सहमति के लिए आशापूर्ण तरीके से बात आगे बढ़ रही है।

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