- विनोद उपाध्याय
छुट्टी का गोरखधंधा
शीर्षक पढक़र आप भी हैरान हो गए हैं न। ऐसे ही हैरान विंध्य क्षेत्र के अनूपपुर कलेक्टर आशीष वशिष्ठ भी उस दिन हो गए, जब उन्होंने विभिन्न विभागों का आकस्मिक निरीक्षण किया था। साहब जब निरीक्षण करने पहुंचे, तो 36 शासकीय सेवक अपने कार्यालयों में बिना सूचना और अवकाश स्वीकृति के अनुपस्थित थे। सूत्रों का कहना है कि जिले में इसी तरह सरकार अधिकारी-कर्मचारी गायब रहते हैं और अगले दिन आकर हाजिरी लगता लेते हैं। छुट्टी का यह गोरखधंधा पता चलने के बाद कलेक्टर ने अनुपस्थित होने पर 2 कर्मचारी को सस्पेंड कर दिया है। इसके अलावा अन्य 36 कर्मचारियों को कारण बताओ नोटिस जारी किया है और जल्द जवाब पेश करने के निर्देश दिए हैं। समयावधि में जवाब पेश न करने पर नियमानुसार एक पक्षीय कार्रवाई की चेतावनी भी दी है। कलेक्टर ने निलंबित कर्मचारियों को कलेक्टर कार्यालय नियत किया है।
साहब आ ही गए निशाने पर
ग्वालियर-चंबल अंचल में प्रमोटी आईएएस संजीव श्रीवास्तव जब से भिंड जिले के कलेक्टर बन कर गए हैं, तब से माफिया और उनके संरक्षक नेता उनसे खार खाए हुए हैं। दरअसल, साहब जब से जिले में पदस्थ हुए है अवैध खनन के खिलाफ लगातार कार्रवाई कर रहे हैं। अब चुनाव के इस दौर में साहब नेताओं के निशाने पर आ गए हैं। कई नेताओं ने कलेक्टर पर आरोपों की बौछार कर दी है। वहीं एक नेता ने तो मुख्य निर्वाचन कार्यालय पहुंचकर कलेक्टर को हटाए जाने की मांग रख दी। उनका कहना है कि कलेक्टर को मेरी लगातार हो रही जीत रास नहीं आ रही है। उन्होंने कलेक्टर पर कई गंभीर आरोप भी लगाए हैं। उधर, कलेक्टर का कहना है कि मैंने चुनाव आयोग की गाइड लाइन पर काम किया है। दरअसल, कलेक्टर जिले के हर उस रसूखदार के निशाने पर हैं ,जो अवैध गतिविधियों के संरक्षक हैं।
साइकिल वाला डीईओ
देश और दुनिया के ज्ञान विज्ञान की जानकारी विद्यार्थियों को देने वाले शिक्षक अपने विभाग के जिला प्रमुख से खुद अपरिचित हैं। ऐसी स्थिति तब निर्मित हुई जब सिवनी जिला शिक्षा अधिकारी एसएस कुमरे शहर में संचालित स्कूलों से गैरहाजिर रहने वाले शिक्षकों का पता लगाने साइकिल से अकेले पहुंचे गए। गेट पर साइकिल खड़ी कर डीईओ निरीक्षण करने स्कूल में गए , तो शिक्षक उन्हें नहीं पहचान सके और डीईओ से अपना पहचान पत्र दिखाने को कहा। इस पर डीईओ ने उपस्थित शिक्षकों को अपना परिचय पत्र दिखाया तो हडक़ंप मच गया, क्योंकि निर्धारित समय पर संस्था में अधिकांश शिक्षक नहीं आए थे। साहब ने गायब शिक्षकों को नोटिस दिया। उसके बाद जिले में अब यह स्थिति हो गई है कि किसी भी साइकिल सवार को देखकर शिक्षक सतर्क हो जाते हैं।
ना काहूं से दोस्ती…
महाकौशल क्षेत्र के एक जिले की महिला कलेक्टर के खिलाफ एक राजनीतिक पार्टी के नेता इस कदर हमलावर हो गए हैंं कि उन्हें हटाने की मांग पर अड़ गए हैं। ना काहूं से दोस्ती…ना काहूं से बैर रखने वाली मैडम आश्चर्यचकित हैं कि क्या ईमानदारी से काम करना इतना परेशान दायक होता है। दरअसल, विधानसभा चुनाव के दौरान मैडम ने सख्ती से चुनाव आयोग के निर्देशों का पालन करवाया। सत्ता पक्ष हो या विपक्ष किसी को भी नियम विरूद्ध काम नहीं करने दिया गया। मैडम के दिशा-निर्देशों का अधिकारियों-कर्मचारियों ने सख्ती से क्रियान्वयन किया। परिणाम यह हुआ की एक राजनीतिक पार्टी ने मैडम के खिलाफ निर्वाचन आयोग में दरवाजा खटखटाया है। और मैडम पर चुनाव प्रक्रिया को प्रभावित करने का आरोप लगाया है। हालांकि आयोग जानता है कि चुनावी माहौल में अफसरों की सख्ती नेताओं को तनिक भी नहीं भाती है।
साहब की दरियादिली
खनिज संपदा से भरपूर एक जिले के कलेक्टर जहां एक और अपने पारिवारिक कलह और प्रेम के कारण राजनीतिक वीथिका में चर्चा को केंद्र बने हुए हैं, वहीं दूसरी तरफ उनकी दरियादिली की खूब प्रशंसा हो रही है। दरअसल, नेशनल ब्लाइंड जूडो प्रतियोगिता में जिले के पांच खिलाडिय़ों के जाने को लेकर बनी दुविधा का मामला संज्ञान में आते ही कलेक्टर ने तत्काल जिले के इन प्रतिभावान और होनहार पैरा जूडो खिलाडिय़ों के अमृतसर पंजाब मे होने वाली नेशनल ब्लाइंड जूडो चौंम्पियनशिप में भाग लेने के लिए सभी जरूरी व्यवस्था करने के निर्देश अधिकारियों को दिए। कलेक्टर के निर्देश के बाद सामाजिक न्याय विभाग द्वारा निराश्रित निधि से पैरा जूडो खिलाडिय़ों को अमृतसर जाने के लिए 25 हजार रूपए की राशि उपलब्ध करा दी गई। इससे खिलाड़ी खुशी से झूम उठे। इसके बाद से साहब की खूब प्रशंसा हो रही है।