बिहाइंड द कर्टन/कोरोना काल में भी चल रहा फिल्म शोले का डायलॉग

– प्रणव बजाज

कोरोना काल

कोरोना काल में भी चल रहा फिल्म शोले का डायलॉग
कोरोना काल में गांव के लोगों को जागरूक करने के लिए मंदसौर पुलिस के मुखिया सिद्धार्थ चौधरी ने कुछ फिल्मों के मशहूर डायलॉग के ऑडियो बनाए हैं। जो जनजागरूकता का काम कर रहे हैं। इसमें से एक फिल्म शोले के डायलॉग के अंदाज में बनाया गया है। इस ऑडियो के जरिए मंदसौर पुलिस द्वारा जगह जगह जाकर लोगों को बताया रहा है कि फिलहाल कोरोना का कहर है। इसलिए भीड़ भाड़ वाला कोई आयोजन ना करें। साथ ही ऐसे किसी आयोजन में ना जाएं। दरअसल जिले में इन दिनों कई गांव में शादी समारोह होने हैं। पुलिस  नसीहत दे रही है कि लोग फिलहाल इन समारोहों को टाल दें। इस ऑडियो में कहा कहा गया है कि ‘अरे ओ सांभा.. यहां से 50-50 कोस दूर जब गांव में शादी होती है तो कोरोना वायरस आने के लिए तैयार हो जाता है और किसी को पता नहीं चलता।’ गांव वालों अभी शादी मत करना और ना ही किसी शादी में जाना, नहीं तो कोरोना तबाही मचा देगा।

जेलों में नहीं पहुंच रहे पैरोल पर छूटे कैदी वापिस
कोरोना काल में पिछले साल पैरोल पर रिहा किए गए कुछ कैदी अब तक वापस जेलों में नहीं पहुंचे हैं। वहीं आपात अवकाश पर जाने के बाद चार दर्जन से ज्यादा कैदियों ने फिर अपराधों को अंजाम दिया है। जिन्हें फिर से गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया। पैरोल अवधि में 47 कैदियों की मृत्यु हो चुकी है। पिछले साल अप्रैल से लेकर नवंबर तक कुल 4900 से ज्यादा कैदियों को पैरोल पर रिहा किया गया था। इनमें से करीब चार हजार कैदी ही पैरोल की अवधि पूरी होने के बाद वापस जेलों में जा चुके हैं। अभी करीब साढ़े सात सौ कैदी पैरोल पर है। जिनकी पैरोल अवधि पूरी होने पर उन्हें वापस जेल जाना होगा। इनकी वापसी होने के बाद ही इतने ही नए कैदियों को 2 माह की पैरोल पर रिहा किया जाएगा। हालांकि पिछले साल पेरोल पर रिहा हुए 22 कैदियों का अब तक पता ही नहीं है। उनके खिलाफ पुलिस थाने में प्रकरण दर्ज कराए जाकर तलाश जारी है।

राज्य सरकार ने बढ़ाई नि:शुल्क राशन वितरण की अवधि
राज्य सरकार के निर्णय के तहत अब बीपीएल परिवारों को आगे तीन माह के लिए निशुल्क राशन मिल सकेगा। इस संबंध में खाद्य नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण विभाग ने आदेश जारी कर दिया है। इस पर होने वाले खर्च राज्य शासन द्वारा स्वयं वहन किया जाएगा। इस मामले में केंद्र सरकार से सहायता राशि नहीं मिलेगी। यह इसलिए कि राज्य सरकार ने अपने स्तर पर यह निर्णय किया है। यदि केंद्र सरकार भी आने वाले दिनों में इस तरह की घोषणा करती है तो फिर मध्य प्रदेश को इस पर खर्च की भरपाई हो सकेगी। प्रदेश के जिन हितग्राहियों द्वारा अप्रैल तथा मई माह का एक रुपये प्रति किलो की दर से भुगतान किया जा कर राशन प्राप्त किया गया है उन्हें जुलाई एवं अगस्त माह का खाद्यान्न नि:शुल्क दिया जाएगा। कोरोना कर्फ्यू के समय में बढ़ोतरी की संभावना को देखते हुए हितग्राहियों को एक साथ एक मुश्त तीन माह का राशन देने की व्यवस्था राज्य सरकार ने की थी। इसी तरह माह अप्रैल मई एवं जून 2021 का एक मुफ्त खाद्यान्न वितरण किया जा रहा था।

शादी समारोह रोकने अब स्वयंसेवी संस्थाओं का सहयोग लेगी सरकार
पिछले दिनों त्रिपुरा की राजधानी अगरतला में एक शादी समारोह को कलेक्टर द्वारा जबरिया रुकवाने के मामले से सबक लेते हुए प्रदेश सरकार अब शादियां रोकने के लिए सामुदायिक संगठन और स्वयंसेवी संस्थाओं का सहयोग लेगी। यानी डंडे के जोर पर शादी नहीं रुकवाई जाएगी। सरकार लोगों को इस समय शादी विवाह नहीं करने के लिए प्रेरित करने के लिए स्लोगन का भी सहारा ले रही है। इनमें से एक स्लोगन इस समय चर्चा में है। कोरोना पर नकेल डालो शादियों को अभी टालो। सामुदायिक संगठनों और स्वयंसेवी संस्थाओं के लोग स्थानीय स्तर पर ऐसे परिवारों को चिन्हित करेंगे जहां कि अभी शादी होना है। उनके यहां परिवार जनों को इस बात के लिए मनाएंगे कि अभी शादी नहीं करना है। उनके लिए यह किसी खतरे से कम नहीं है। दूल्हा-दुल्हन के साथ परिजनों को भी संक्रमण का खतरा रहेगा।

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