संन्यासी भज्जी ने साधा धोनी पर निशाना…..बोले….. मुझे बाहर करना भी एक मिस्ट्री है….

भज्जी-धोनी

नई दिल्ली/बिच्छू डॉट कॉम।  अपनी गेंदबाजी से 400 से ज्यादा विकेट लेने वाले भज्जी ने संन्यास लेने के बाद अपना दुख व्यक्त किया है….. टीम से बाहर करने का सारा ठीकरा धोनी पर फोड़ने के साथ ही भज्जी ने यह भी कहा है कि मेरा टीम से बाहर होना एक मिस्ट्री की तरह है जो न मैं समझ पाया और नही मेरे चाहने वाले। हरभजन सिंह काफी समय तक भारतीय टीम के नंबर वन स्पिनर रहे। लेकिन साल 2011 के वर्ल्ड कप के बाद टीम में उनकी जगह पक्की नहीं रही। इसके बाद उन्होंने भारत के लिए बहुत कम मैच ही खेले। 2013 चैंपियंस ट्रॉफी की टीम से उन्हें ड्रॉप कर दिया गया था। वह 2015 वर्ल्ड कप की टीम का भी हिस्सा नहीं थे। हालांकि 2016 में भारत में हुए टी 20 वर्ल्ड कप के लिए उन्हें भारतीय टीम में शामिल किया गया था लेकिन उन्हें खेलने का मौका नहीं दिया गया था । हरभजन कहते हैं टेस्ट क्रिकेट में 400 विकेट लेने वाले खिलाड़ी को इस तरह बाहर कर देना अपने आप में एक रहस्यमय कहानी है। इसका जवाब अब तक नहीं दिया गाय है। मुझे अब भी हैरानी होती है। असल में क्या हुआ? मेरे टीम में रहने से किसे परेशानी थी? भज्जी ने भारत के लिए आखिरी बार वनडे क्रिकेट 2015 में खेला था और 2016 में उन्होंने आखिरी टी20 इंटरनैशनल मैच खेला था। हालांकि वह नियमित रूप से इंडियन प्रीमियर लीग में खेलते रहे। आईपीएल में आखिरी बार वह कोलकाता नाइट राइडर्स की टीम का हिस्सा थे। हरभजन सिंह ने इंडिया टीवी के साथ बातचीत के दौरान कहा कि 400 टेस्ट विकेट लेने वाले खिलाड़ी को इस तरह नजरअंदाज कर देना अपने आप में एक श्रहस्यमय कहानीश् है। हरभजन ने इंडिया टीवी से कहा, श्टेस्ट क्रिकेट में 400 विकेट लेने वाले खिलाड़ी को इस तरह बाहर कर देना अपने आप में एक रहस्यमय कहानी है। इसका जवाब अब तक नहीं दिया गाय है। मुझे अब भी हैरानी होती है। असल में क्या हुआ? मेरे टीम में रहने से किसे परेशानी थी? 41 वर्षीय इस स्पिनर ने आगे कहा कि जब उन्होंने धोनी से इसका जवाब पूछने की कोशिश की तो उन्हें कोई जवाब नहीं मिला. तो आखिर उन्होंने यह सवाल पूछना ही बंद कर दिया। हरभजन ने कहा, मैंने कप्तान (धोनी) से पूछना चाहा कि आखिर ऐसा क्यों हुआ, लेकिन मुझे कोई जवाब नहीं दिया गया। मुझे एहसास हुआ कि इस व्यवहार का कारण पूछने की कोई वजह नहीं है। और अगर जवाब न मिले तो इसके बारे में पूछते रहने का कोई कारण नहीं है। तो बेहतर है कि इसे छोड़ ही दिया जाए।

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