बिच्छू डॉट कॉम: टोटल रिकॉल/गुजरात-राजस्थान के साथ मिलकर विकसित करेंगे श्रीकृष्ण पाथेय: सीएम

गुजरात-राजस्थान के साथ मिलकर विकसित करेंगे श्रीकृष्ण पाथेय: सीएम
भगवान श्रीकृष्ण जहां-जहां से होकर गुजरे हैं, ऐसे स्थलों के विकास को लेकर मध्यप्रदेश और राजस्थान सरकार एक साथ काम करने को तैयार हैं। हम राजस्थान सरकार के साथ मिलकर श्रीकृष्ण पाथेय के विकास के लिए काम करेंगे। भगवान श्रीकृष्ण के गुजरात गमन पथ के विकास के लिए हम गुजरात सरकार से सहयोग लेकर इस दिशा में काम करेंगे। यह बात मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने श्रीकृष्ण पाथेय के संबंध में विशेषज्ञ समिति की बैठक में कहीं। सीएम ने कहा कि श्रीकृष्ण पाथेय के विकास के लिए सभी समितियों को सक्रिय किया जाए। पुरातत्वविदों, धमार्चायों एवं भगवान श्रीकृष्ण पर साहित्य के अच्छे लेखकों को भी समिति में जोड़ा जाए। डॉ. यादव ने कहा कि श्रीकृष्ण पाथेय के विकास के लिए भोपाल के अलावा उज्जैन और राजस्थान के जयपुर या भरतपुर या ब्रज या चौरासी कोस या अन्य किसी विशिष्ट स्थल पर समिति की बैठक करने के भी निर्देश दिए।
धीरेंद्र शास्त्री बोले, हिंदू राष्ट्र की मांग सबसे पहले बिहार से उठेगी
बिहार के गोपालगंज में धीरेंद्र शास्त्री हनुमंत कथा कर रहे हैं। कथा के दौरान धीरेंद्र शास्त्री ने कहा कि मेरे बिहार दौरे को लेकर लोगों को बड़ी तकलीफ है। कहते हैं-घेरेंगे, मारेंगे। अरे तुम्हारे बाप का देश है क्या। ये रघुवर का देश है, बाबर का नहीं। बिहार हमारा है, जब तक जिंदा हूं, तब तक बिहार आऊंगा। मुझे कोई बिहार आने से रोकेगा तो यहां मठ बना लूंगा। घर बना लूंगा। मार दोगे तो फिर बिहार में जन्म लूंगा। छेड़ोगे तो छोडूंगा नहीं। मैं किसी पार्टी का प्रचारक नहीं हूं, हिंदुत्व का विचारक हूं। राम के राष्ट्र में राम की कथा रोक लोगे। हिंदू राष्ट्र की मांग सबसे पहले बिहार से उठेगी। जब तक शरीर में जान है, तक तक हिंदुओं के लिए जीऊंगा और मरूंगा।
फ्री बीज स्कीम पर बोलने से बचे पनगढिय़ा
16वां वित्त आयोग के अध्यक्ष अरविंद पनगढिया ने कहा कि राज्य सरकारों द्वारा चलाई जा रही फ्री बीज स्कीम को लेकर आयोग ने अभी तक कोई अनुशंसा तय नहीं की है। इसको लेकर आयोग के सभी पांचों सदस्य आपस में बैठक कर तय करेंगे और उसके बाद कोई फैसला लेंगे। आयोग के अध्यक्ष ने राज्य सरकार के साथ बैठक के बाद पत्रकारों के सवालों के जवाब दिए।  फ्री बीज को लेकर किए गए सवाल पर पहले तो उन्होंने अपने अधिकार क्षेत्र से बाहर का बताकर कुछ कहने से मना कर दिया लेकिन जब उनसे यह पूछा गया कि अधिकांश राज्य सरकारें फ्री-बीच स्कीम को बढ़ावा दे रही हैं तो क्या ऐसे मामलों में आयोग अपनी सिफारिश देगा। इस पर वे चुप्पी साध गए।
हाईकोर्ट ने लगाया राज्य सूचना आयुक्त पर 40 हजार रुपए का जुर्माना
मप्र हाईकोर्ट ने राज्य सूचना आयुक्त मर 40 हजार रुपए का जुर्माना लगाया है। कोर्ट ने कहा कि वह सरकार के एजेंट के रूप में काम न करें। साथ ही आवेदक को 2 लाख रुपए से ज्यादा की मांगी गई जानकारी मुफ्त देने के आदेश दिए हैं। गौरतलब है कि भोपाल के फिल्ममेकर नीरज निगम ने 2019 में सूचना के अधिकार के तहत पशुपालन विभाग में पदस्थ अधिकारी आरके रोकड़े के बारे में जानकारी मांगी थी। संबंधित सूचना अधिकारी ने 30 दिन के अंदर चाही गई जानकारी नहीं दी। इसके बाद फिल्ममेकर ने सूचना आयुक्त के समक्ष अपील दायर की थी। यहां से बिना जांच के ही अपील खारिज कर दी गई। फैसले को अगस्त 2023 में हाईकोर्ट में चुनौती दी थी। गुरुवार को जस्टिस विवेक अग्रवाल की कोर्ट में इस मामले में सुनवाई हुई।

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