नर्सिंग घोटाला: अफसर करा रहे सरकार की किरकिरी

नर्सिंग घोटाला
  • जांच के दौरान देर रात तक खुल रहा नर्सिंग काउंसिल, फर्जीवाड़े की आशंका, कोर्ट ने बनाई है जांच कमेटी

भोपाल/बिच्छू डॉट कॉम। प्रदेश का नर्सिंंग घोटाला प्रदेश सरकार के लिए मुसीबत बनता जा रहा है। इस मामले में अफसरों द्वारा लगातार सरकार की किरकिरी कराई जा रही है। हालत यह है कि यह मामला बीते एक साल से चर्चा में बना हुआ है। इस मामले में जिस तरह से अफसर कदम उठा रहे हैं, उससे अफसरों की कार्यप्रणाली पर गंभीर सवाल खड़ेे होने लगे हैं।
न्यायालय के निर्देशों के चलते जिन अफसरों और कर्मचारियों को हटाया जाता है उनके बदले में विवादास्पद और तमाम आरोपों में घिरे रहे दूसरे अफसरों  व कर्मचरियों की पदस्थापना कर दी जाती है। इसकी वजह से मामला शांत होने की जगह फिर से चर्चाओं में आ जाता है। फिलहाल इस मामले में अभी भी फर्जी नर्सिंग कॉलेज को मान्यता देने की जांच चल रही है। जांच के लिए हाई कोर्ट ने तीन सदस्सीय कमेटी बनाई है। इस दौरान काउंसिल के अधिकारियों के कार्य पर भी सवाल खड़े हो रहे हैं। दरअसल शुक्रवार को देर रात तक नर्सिंग काउंसिल खुली रही और कुछ अधिकारी काम करते नजर आए। अब सवाल खड़े हो रहें हैं कि देर रात ऐसा क्या काम किया जा रहा है। कहीं फर्जीवाड़े के सबूतों को मिटाने की कोशिश तो नहीं की जा रही है। देर रात तक काउंसिल में चल रहे कामकाज के दौरान एनएसयूआई प्रदेश उपाध्यक्ष रवि परमार ने इसका कड़ा विरोध जताया उन्होंने आरोप लगाया कि अधिकारी अपने भ्रष्टाचार को छिपाने और नए खेल को अंजाम देने में जुटे हुए हैं। नर्सिंग काउंसिल को 11 बजे रात तक खोला जा रहा है जिस पर सवाल खड़े हो रहे हैं। जबकि कोर्ट द्वारा बनाई गई कमेटी काउंसिल की जांच कर रही है। इसलिए आरोप लग रहा है कि सबूत को मिटाने की कोशिश की जा रही है।
काले कारनामों को अंजाम देने की कोशिश
परमार ने कहा है कि रात 11 बजे तक नर्सिंग काउंसिल में काम चल रहा है, जो इस बात का प्रमाण है कि काले कारनामों को अंजाम देने की कोशिश हो रही है। यह स्थिति न केवल शिक्षा व्यवस्था के लिए खतरनाक है, बल्कि नर्सिंग के पेशे की गरिमा को भी ठेस पहुंचा रही है। रवि परमार ने सरकार और जिम्मेदार अधिकारियों से इस पूरे मामले की उच्चस्तरीय जांच कराने और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है। रवि परमार ने चेतावनी दी है कि यदि जल्द ही इस घोटाले पर रोक नहीं लगाई गई, तो हृस्ढ्ढ राज्यव्यापी आंदोलन करने को मजबूर होगी।
डिप्टी रजिस्ट्रार की नियुक्ति पर पूर्व केंद्रीय मंत्री ने उठाए सवाल
नर्सिंग काउंसिल में विवादित डेप्युटी रजिस्ट्रार चंद्र प्रकाश शुक्ला की दोबारा नियुक्ति पर पूर्व केंद्रीय मंत्री और वरिष्ठ कांग्रेस नेता अरुण यादव ने सवाल खड़े किए हैं उन्होंने अपने सोशल मीडिया साइट एक्स पर लिखा कि भ्रष्टाचार के गंभीर आरोपों के बावजूद चंद्रप्रकाश शुक्ला को दोबारा मध्यप्रदेश नर्सेस रजिस्ट्रेशन काउंसिल का डिप्टी रजिस्ट्रार बनाना नर्सिंग शिक्षा में सुधार की बजाय भ्रष्टाचार को बढ़ावा देने जैसा है।सरकार भ्रष्ट अधिकारियों पर इतनी मेहरबान क्यों है।

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