- हरीश फतेहचंदानी
आज भी देश-प्रदेश में भले ही महिलाएं कई मामलों में पीछे हैं, लेकिन मप्र की महिलाएं घर, मकान और जमीन के मालिकाना हक के मामले में पुरुषों से आगे हैं। पंजीयन अफसरों के अनुसार 2021 तक महिलाओं के नाम पर प्रॉपर्टी की खरीद फरोख्त कम ही होती थी। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने महिलाओं की प्रॉपर्टी में भागीदारी बढ़ाने के लिए प्रॉपर्टी खरीदते समय स्टाम्प में दो फीसदी छूट की घोषणा की। शुरू में इसे लोगों ने नहीं अपनाया लेकिन बाद में महिलाओं के नाम पर 50 लाख की प्रॉपर्टी खरीदने पर स्टाम्प शुल्क साढ़े बारह फीसदी की जगह साढ़े दस फीसदी लगने की जानकारी के बाद लोगों में जागरूकता आई। अब तो महिलाओं की रजिस्ट्री की संख्या तेजी से बढ़ रही है। पंजीयन कार्यालयों में दर्ज दस्तावेजों में कई जगह मां ने बेटी और बहू के नाम पर भी प्रॉपर्टी की रजिस्ट्री कराने के बाद छूट ली है।
प्रदेश में पिछले दो सालों में महिलाओं के नाम पर रजिस्ट्री करने का चलन जमकर बढ़ा है। जिले में 60 प्रतिशत रजिस्ट्रियां महिलाओं के नाम पर की जा रही हैं। ऐसे में महिलाएं प्रापर्टी खरीदने में पुरुषों से आगे निकल गई हैं। दरअसल, शासन ने छह अप्रैल 2021 को आदेश जारी कर महिलाओं के नाम प्रॉपर्टी खरीदने पर दो प्रतिशत छूट दी है। यह छूट नगर निगम में 10.50 प्रतिशत और ग्रामीण क्षेत्र में 7.5 प्रतिशत रजिस्ट्री कराने पर मिलती है। जबकि, यदि पुरुषों के नाम पर शहरी क्षेत्र में रजिस्ट्री कराई जाती है तो 12.5 प्रतिशत और ग्रामीण क्षेत्र में 9.5 प्रतिशत तक स्टांप शुल्क जमा करना पड़ता है। वित्तीय वर्ष 2022-23 में लगभग 65 हजार दस्तावेज पंजीकृत हुए हैं। इनमें से लगभग 30 से 35 हजार रजिस्ट्रियां महिलाओं के नाम पर दर्ज कराई जा रही हैं। यह आंक आंकड़ा वर्ष के मुकाबले दोगुना है।
एक लाख तक की छूट
शहर के किसी एक स्थान पर एक हजार वर्ग फीट के प्लाट का सरकारी गाइडलाइन का मूल्य पांच हजार रुपये प्रति वर्गफीट के हिसाब से खरीदने पर प्रापर्टी की कुल कीमत 50 लाख रुपये आएगी। क्योंकि पुरुष के नाम पर रजिस्ट्री कराने पर 12.5 प्रतिशत स्टांप ड्यूटी चुकानी पड़ रही है। इसलिए स्टांप ड्यूटी छह लाख 25 हजार रुपये चुकाना पड़ रही थी। महिलाओं के नाम पर प्रॉपर्टी खरीदने पर 50 लाख की प्रापर्टी पर स्टांप ड्यूटी पांच लाख 25 हजार रुपये देना पड़ रही है। मतलब पुरुषों की तुलना में सीधे एक लाख रुपये स्टांप ड्यूटी कम लग रही है। स्टांप शुल्क में छूट के पहले 12 से 15 प्रतिशत ही रजिस्ट्री महिलाओं के नाम पर होती थीं। नई नीति लागू होने के बाद प्रॉपर्टी खरीदी में महिलाओं की हिस्सेदारी तेजी से बढ़ रही है। आने वाले दिनों में 80 प्रतिशत से अधिक प्रापर्टी इनके ही नाम पर दर्ज होंगी। महिलाओं को रजिस्ट्री में छूट मिलने के बाद शुरुआत में नौकरीपेशा महिलाओं ने ही रजिस्ट्री कराने में रुचि दिखाई, लेकिन जैसे- जैसे जागरूकता बढ़ी तो गृहणियों के नाम पर भी रजिस्ट्रियां होने लगीं। राजधानी की बात करें तो 60 प्रतिशत रजिस्ट्री महिलाओं के नाम दर्ज की गई हैं।
पत्नी, बेटी और बहू के नाम प्रॉपर्टी लेने में सरकार ने दिया बड़ा लाभ
मप्र में महिलाओं को रजिस्ट्री पर खासी छूट दी जा रही है। बेटी, बहू या पत्नी के नाम पर प्रॉपर्टी लेने में एमपी सरकार द्वारा बड़ा लाभ दिया जा रहा है। हाल ये है कि बड़ी रजिस्ट्री में हजारों की बचत हो रही है। यही कारण है कि महिलाएं धन संपदा के मामले में पुरुषों से लगातार आगे निकल रही हैं। अब प्रतिदिन दस में से तीन रजिस्ट्री महिलाओं के नाम पर हो रही हैं। बैंक भी पति की इनकम के साथ ज्वाइंट में महिलाओं को लोन दे रहे हैं। इसमें प्रॉपर्टी महिला के नाम पर होती है। महिलाओं को रजिस्ट्री में छूट 6 अप्रैल 2021 से जारी है जिसके बाद जो महिलाएं निजी सेक्टरों, कंपनी में अच्छे पद पर कार्यरत हैं या सरकारी जॉब में हैं उन्होंने ही ज्यादातर रजिस्ट्रियां कराईं। लेकिन जैसे-जैसे जागरूकता बढ़ी गृहणियों के नाम पर भी रजिस्ट्रियां होने लगी। नवरात्र के दिनों में राजधानी में प्रॉपर्टी मालकिन बनने की संख्या तेजी से बढ़ी है। प्रॉपर्टी स्टाम्प में मिलने वाली दो फीसदी छूट ने पतियों को पत्नियों के नाम प्रॉपर्टी खरीदने ज्यादा रुचि दिखाई है।
ग्रामीण क्षेत्र में 70 प्रतिशत रजिस्ट्री महिलाओं के नाम
शहर के मुकाबले गांवों में अधिक रजिस्ट्री महिलाओं के नाम पर दर्ज की गई है। ग्रामीण क्षेत्रों में महिलाओं के साढ़े सात प्रतिशत ही स्टांप शुल्क देना पड़ता है, जबकि पुरुषों को साढ़े नौ प्रतिशत देना पड़ता है। इसे ऐसे समझा जा सकता है, जैसे रातीबड़ में 10 लाख कीमत के प्लाट की रजिस्ट्री पुरुष के नाम पर कराई जाती है तो स्टॉप शुल्क 951 रुपये देना होगा। वहीं, महिला के नाम पर रजिस्ट्री कराने पर 75 हजार रुपये शुल्क देना होगा। ऐसे में छूट का लाभ लेने के लिए 10 में से सात रजिस्ट्री महिलाओं के नाम पर ही दर्ज हो रही है।