बिच्छू राउंडअप/डब्ल्यूएचओ ने जताई कोविड-19 के समाप्त होने की संभावना, संक्रमण से होने वाली मौतें घटी

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डब्ल्यूएचओ ने जताई कोविड-19 के समाप्त होने की संभावना, संक्रमण से होने वाली मौतें घटी
विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने संभावना जताई है कि जल्द ही महामारी समाप्त हो सकती है। डब्ल्यूएचओ के प्रमुख डॉ। टेड्रोस ने बताया कि पिछले सप्ताह मार्च-2020 से कोविड-19 के कारण सबसे कम मौतों के मामले सामने आए हैं। जिसके चलते उन्होंने संभावना जताई की जल्द ही महामारी समाप्त हो सकती है। महामारी की समाप्ती की आशंका के साथ ही टेड्रोस ने एक चेतावनी भी दी है। उन्होंने कहा है कि अभी संक्रमण के मामले बहुत कम हैं, हमें फिर भी सावधान रहने की जरूरत है। क्योंकि अभी भी कोरोना के नए वैरिएंट सामने आ सकते हैं। जिसके चलते एक बार फिर स्थिति चिंताजनक हो सकती है। इस दौरान डब्ल्यूएचओ ने अगले छह महीनों के लिए एक नीति जारी की है। जिसमें यह बताया गया है महामारी की समाप्ती कि दिशा में विश्व के सभी प्रमुख देशों को किन नियमों का सख्ती से पालन करना चाहिए। डब्ल्यूएचओ द्वारा जारी की गई छह महीनों की नीति में पिछले 32 महीनों के दौरान हुए अनुभवों के संक्षिप्त सारांश को बताया गया है। इस नीति में यह बताया गया है कि जीवन को बचाने, स्वास्थ्य प्रणालियों की रक्षा करने के साथ सामाजिक और आर्थिक व्यवधान से बचने के लिए सबसे अच्छे क्या उपाय हैं।

बीजेपी से हाथ मिला सकते हैं चिराग, पारस को साथ रखने के फॉर्मूले पर चर्चा
लोक जनशक्ति पार्टी नेता चिराग पासवान बुधवार को हिंदी दिवस समारोह में शामिल होने के लिए सूरत में थे। इस कार्यक्रम को केंद्रीय गृह मंत्री और भाजपा के वरिष्ठ अमित शाह ने संबोधित किया था। चिराग भी ‘राजभाषा’ पर संसदीय समिति के सदस्य हैं और वे समिति के सदस्य के रूप में वहां थे। लेकिन सूत्रों का कहना है कि सूरत में चिराग के मीटिंग में शिरकत करने के और भी कई कारण थे। भाजपा नेताओं ने उन्हें बैठक में शामिल होने के लिए मना लिया और वे सूरत चले गए। बीजेपी के कई नेता लगातार इस बात को दोहराते रहे हैं कि चिराग पासवान अभी भी एनडीए का हिस्सा हैं। राष्ट्रपति चुनाव के दौरान केंद्रीय मंत्री राजनाथ सिंह ने चिराग को फोन कर द्रौपदी मुर्मू के लिए उनका समर्थन मांगा था। चिराग ने भी उन्हें अपना समर्थन दिया था। इतना ही नहीं, राष्ट्रपति चुनाव को लेकर हुई एनडीए की बैठक में भी चिराग शामिल हुए थे। हालांकि, चिराग ने कहा था कि वह बैठक में इसलिए शामिल हुए क्योंकि उन्होंने राष्ट्रपति चुनाव में मुर्मू का समर्थन किया था और वह एनडीए का हिस्सा नहीं हैं। सूत्रों का कहना है कि बिहार में बदले हुए राजनीतिक परिदृश्य में चिराग पासवान और बीजेपी के बीच नए सिरे से गठबंधन को लेकर बातचीत चल रही है। चिराग के चाचा पशुपति कुमार पारस पार्टी के अन्य सांसदों के साथ इस समय एनडीए में हैं।

अमेरिका में चेचक का वैक्सीन लगने के बावजूद भी एक शख्स को हुआ मंकीपॉक्स
अमेरिका में एक मरीज में मंकीपॉक्स का ऐसा मामला सामने आया है, जिसे 8 साल पहले चेचक का टीका लगाया गया था। इस टीकाकरण के होने के बावजूद उस शख्स को मंकीपॉक्स की बीमारी हो गई। अमेरिका के सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन ने इसकी जानकारी दी है। वाशिंगटन में एक ऐसा मरीज पाया गया है, जिसे 8 साल पहले चेचक का टीका लगाया गया था। इससे चेचक के खिलाफ सफलतापूर्वक प्रतिरक्षा होने के बावजूद मंकीपॉक्स हो गया। इससे मंकीपॉक्स वैक्सीन की चल रही कमी के बीच वैक्सीन की प्रभावशीलता के बारे में एक बड़ा सवाल उठ खड़ा हुआ है। इनसाइडर पेपर की एक खबर के मुताबिक ये रोगी पहले एक स्वस्थ 34 वर्षीय व्यक्ति था, जो पुरुषों के साथ यौन संबंध रखता था। जब इस शख्स को लगातार थकान और सिरदर्द रहने के साथ त्वचा पर घाव बनने लगे तो ये एक यौन संचारित संक्रमण क्लिनिक में आया था। इस शख्स को 2017 में गोनोरिया संक्रमण और सिफलिस हुआ था जो इलाज के बाद ठीक हो गया था।

लखीमपुर: दलित बहनों की हत्या मामले में 6 हिरासत में, पॉक्सो एक्ट में चलेगा केस
उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी जिले के निघासन में बुधवार शाम एक खेत में दो सगी बहनों के शव पेड़ पर फंदे से लटकते पाए गए।  दोनों लड़कियां दलित समुदाय की थीं। इस मामले में छह लोगों को हिरासत में लिया गया है। यह सभी आपस में दोस्त हैं।  इन पर पॉक्सो एक्ट के तहत रेप और हत्या की धाराएं लगाई गई हैं। जैसे ही ये घटना सामने आई स्थानीय ग्रामीणों ने निघासन चौराहे पर रास्ता जाम कर प्रदर्शन किया। लड़कियों की मां ने पड़ोस के गांव के रहने वाले तीन युवकों पर उसकी बेटियों को अगवा कर उनकी हत्या करने का आरोप लगाया है। समाजवादी पार्टी और कांग्रेस ने इस मुद्दे को लेकर प्रदेश की कानून व्यवस्था पर सवाल उठाए हैं। पुलिस सूत्रों ने यहां बताया कि बुधवार की शाम निघासन कोतवाली क्षेत्र के एक गांव से कुछ दूरी पर गन्ने के खेत में पेड़ पर फंदे से लटकते दो लड़कियों के शव मिले। दोनों लड़कियां दलित समुदाय की हैं।

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