प्रतिनियुक्ति का शौक शिक्षकों को पड़ा भारी

प्रतिनियुक्ति
  • एरियर और इंक्रीमेंट के लिए जिला पंचायत और डीपीसी कार्यालय के काट रहे चक्कर

    भोपाल/रवि खरे/बिच्छू डॉट कॉम। शिक्षा विभाग में शिक्षकों को प्रतिनियुक्ति का ऐसा चस्का लगा है कि वे अपना मूल काम छोड़कर बाबूगिरी करना पसंद करते हैं। लेकिन स्कूलों में अध्यापन छोड़कर राजधानी में जिला केंद्र के अधीनस्थ संस्थाओं में प्रतिनियुक्ति पर जाना शिक्षकों को भारी पड़ रहा है। अकादमिक समन्वयक और जन शिक्षक की जिम्मेदारी संभाल रहे शिक्षकों को शासनदेश के एक वर्ष बाद भी सातवें वेतनमान की एरियर किश्त और वार्षिक वेतन वृद्धि का लाभ नहीं मिल सका है। अब जिला शिक्षा केंद्र अंतर्गत पदस्थ प्रतिनियुक्ति वाले शिक्षक आज भी एरियर और वार्षिक वेतन वृद्धि के जिला पंचायत और डीपीसी कार्यालय के चक्कर काट रहे हंै।
    गौरतलब है कि प्रदेश में शासन द्वारा शिक्षक संवर्ग (अध्यापक) को जुलाई 2018 से सातवें वेतनमान के निर्देश दिए गए थे। अक्टूबर 2019 से सातवें वेतनमान का नगद भुगतान किया गया था जबकि जुलाई 18 से सितम्बर 19 तक की सावें वेतनमान की राशि को एरियर के रूप में पांच वित्तीय वर्षों में किश्तों के रूप में देने के निर्देश जारी किए गए थे। इस संवर्ग के शिक्षकों की वार्षिक वेतन वृद्धि के भी आदेश भी शिक्षा विभाग द्वारा दो माह पहले दिए जा चुके हैं। वित्तीय वर्ष 2020, 2021 के साथ ही 2024 तक में एरियर की राशि पांच किश्तों में दी जाना है। प्रथम एवं द्वितीय किश्तों का भुगतान समूचे प्रदेश में हो चुका है लेकिन भोपाल के जिला शिक्षा केंद्र अंतर्गत पदस्थ प्रतिनियुक्ति वाले शिक्षक आज भी एरियर और वार्षिक वेतन वृद्वि के जिला पंचायत और डीपीसी कार्यालय के चक्कर काट रहे है। इसकी वजह डीपीसी कार्यालय में भर्राशाही बताया जाता है।
    31 अक्टूबर तक भुगतान के आदेश
    जानकारी के अनुसार अध्यापक को सातवें वेतनमान के एरियर की द्वितीय किश्त वित्तीय वर्ष 21-22 में लेकिन डीडीओ एवं संकुल प्राचार्य के लापरवाही के कारण अभी तक एरियर का भुगतान नहीं हो सका है। इस संबंध में अध्यापक संगठनों ने शिक्षा विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों का ध्यान आकर्षित कराकर अध्यापक एरियर भुगतान कराने की मांग की थी। राज्य अध्यापक संघ के कार्यकारी अध्यक्ष उपेंद्र कौशल के मुताबिक आयुक्त लोक शिक्षण ने संयुक्त संचालकों, जिला शिक्षा अधिकारियो के साथ ही डीईओए बीईओ को लंबित सातवें वेतनमान की द्वितीय किश्त का भुगतान 31 अक्टूबर तक करने के आदेश जारी किए है।
    संगठन ने दी आंदोलन की चेतावनी
    शासकीय अध्यापक संगठन ने दीपावली के पूर्व इन शिक्षकों को वेतनमान के एरियर्स तथा वेतन वृद्धि का भुगतान नहीं होने पर आंदोलन की चेतावनी दी है। इधर संकुल प्राचार्यों और डीडीओ की कोताही के चलते अध्यापक संवर्ग को सातवें वेतनमान के एरियर्स की दूसरी किस्त का भुगतान शासनदेश के बाद भी नहीं हो सका है। स्कूल शिक्षा विभाग के 1.84 लाख अध्यापक और आदिम जाति विभाग में अध्यापक संवर्ग के 37 हजार शिक्षकों को उक्त सातवें वेतनमान की एरियर राशि का भुगतान नहीं किया जा सका है। इस संबंध में, आयुक्त लोक शिक्षण ने जिला शिक्षा अधिकारियों और डीपीसी को दूसरी किस्त के एरियर्स का भुगतान 31 अक्टूबर से पहले करने के निर्देश जारी किए है लेकिन अभी तक इस दिशा में कोई प्रक्रिया शुरू नहीं हुई है।

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